Edited By Punjab Kesari,Updated: 08 Mar, 2018 09:57 AM
रिलायंस कम्यूनिकेशन (आरकॉम) के मालिक अनिल अंबानी को एक आर्बिट्रेशन कोर्ट ने तगड़ा झटका दिया है। राष्ट्रीय कंपनी कानून ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) ने बुधवार को आरकॉम की सहायक कंपनी रिलांयस इंफ्राटेल लिमिटेड के टावर एसेट्स की बिक्री पर 13 मार्च तक रोक लगा...
मुंबईः रिलायंस कम्यूनिकेशन (आरकॉम) के मालिक अनिल अंबानी को एक आर्बिट्रेशन कोर्ट ने तगड़ा झटका दिया है। राष्ट्रीय कंपनी कानून ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) ने बुधवार को आरकॉम की सहायक कंपनी रिलांयस इंफ्राटेल लिमिटेड के टावर एसेट्स की बिक्री पर 13 मार्च तक रोक लगा दी है। ट्रिब्यूनल HSBC डेजी इन्वेस्टमेंट्स (मॉरीशस) लिमिटेड द्वारा दायर की गई याचिका पर सुनवाई कर रहा है।कोर्ट ने कहा है कि आरकॉम को संपत्तियां बेचने या ट्रांसफर करने से पहले अनुमति लेनी होगी।
क्या है मामला
HSBC डेज़ी ने ट्रिब्यूनल को बताया कि कंपनी ने न तो बिक्री का ब्योरा दिया है और न ही बिक्री के लिए उसकी सहमति मांगी है। HSBC डेज़ी ने 2007 में 11 अरब रुपए के निवेश के जरिए कंपनी में 5 फीसदी हिस्सेदारी अर्जित की थी। बता दें कि आरकॉम, रिलायंस कम्युनिकेशंस इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड के साथ रिलायंस इंफ्राटेल में 95 फीसदी हिस्सेदारी रखती हैं।
अंबानी पर करोड़ों का कर्ज
आर्बिट्रेशन कोर्ट के इस आदेश को आरकॉम के लिए खतरे की घंटी माना जा रहा है, जिसने अपने कर्ज को कम करने के लिए दिसंबर, 2017 में अपने एसेट्स रिलायंस जियो को बेचने का एक प्लान पेश किया था। आरकॉम पर मार्च, 2017 तक बैंकों का 7 अरब डॉलर (लगभग 45 हजार करोड़ रुपए) का कर्ज था, जब उन्होंने अपने कर्ज के आंकड़े सार्वजनिक किए थे।