बैंक से ज्यादा कैश निकालने के लिए दिखाना होगा ओरिजनल ID प्रूफ

Edited By Punjab Kesari,Updated: 23 Oct, 2017 09:05 AM

banks need to show original transaction in large transactions

अगर आप कोई बड़ा लेन-देन करने जा रहे हैं तो आपको बैंक और वित्तीय संस्थान को अपने पहचान का मूल दस्तावेज दिखाना होगा। सिर्फ उसकी कॉपी से काम नहीं चलेगा। जी हां, सरकार ने बैंकों और वित्तीय संस्थानों के लिए एक निश्चित सीमा से अधिक का लेनदेन करने वाले...

नई दिल्लीः अगर आप कोई बड़ा लेन-देन करने जा रहे हैं तो आपको बैंक और वित्तीय संस्थान को अपने पहचान का मूल दस्तावेज दिखाना होगा। सिर्फ उसकी कॉपी से काम नहीं चलेगा। जी हां, सरकार ने बैंकों और वित्तीय संस्थानों के लिए एक निश्चित सीमा से अधिक का लेनदेन करने वाले लोगों के मूल पहचान दस्तावेजों का प्रतिलिपियों के साथ मिलान करने को कहा है, जिससे जाली या धोखाधड़ी कर बनाए गए दस्तावेजों के इस्तेमाल की संभावना को समाप्त किया जा सके।

नियमों में किया गया बदलाव
वित्त मंत्रालय के तहत राजस्व विभाग ने गजट अधिसूचना जारी कर मनी लांड्रिंग रोधक (रिकॉर्ड रखरखाव) नियमों में संशोधन किया है। नए नियमों के तहत रिपोर्ट करने वाली इकाई को ग्राहकों द्वारा दिए गए आधारिक रूप से वैध दस्तावेज का मूल और प्रतिलिपि के साथ मिलान करना होगा। मनी लांड्रिंग रोधक कानून (पी.एम.एल.ए.) देश में मनी लांड्रिंग और कालेधन के सृजन पर अंकुश लगाने का प्रमुख कानूनी ढांचा है। पी.एम.एल.ए. और इसके नियमों के तहत बैंकों, वित्तीय संस्थानों और अन्य बाजार इकाइयों के लिए अपने ग्राहकों की पहचान का सत्यापन करना, रिकॉर्ड रखना तथा भारत की वित्तीय खुफिया इकाई (एफ.आई.यू.-आई.एन.डी.) को सूचना देना जरूरी है।

50 हजार से ज्यादा के नकद लेनदेन पर ID जरूरी
नियम 9 के तहत प्रत्येक रिपोर्टिंग इकाई को किसी के साथ खाता आधारित संबंध शुरू करते समय अपने ग्राहकों और उनकी पहचान का सत्यापन करना और कारोबारी संबंध के उद्देश्य और प्रकृति के बारे में सूचना प्राप्त करना जरूरी है। शेयर ब्रोकर, चिट फंड कंपनियां, सहकारी बैंक, आवास वित्त संस्थान और गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों को भी रिपोर्टिंग इकाई के रूप में वगीकृत किया गया है। रिपोर्टिंग इकाइयों को खाता खोलने वाले किसी व्यक्ति या 50,000 रुपए से अधिक का लेनदेन करने वालों से बायोमीट्रिक पहचान नंबर आधार और अन्य आधिकारिक दस्तावेज लेना जरूरी है। इसी तरह की अनिवार्यता 10 लाख रुपए से अधिक के नकद सौदे या उतने ही मूल्य के विदेशी मुद्रा सौदे के लिए भी है।

साथ में दे सकते हैं बिजली-टेलीफोन बिल
रिपोर्टिंग नियमों के अनुसार पांच लाख रुपए से अधिक के विदेशी मुद्रा के सीमापार लेनदेन और 50 लाख रुपए या उससे अधिक मूल्य की अचल संपत्ति की खरीद भी इसी श्रेणी में आती है। गजट अधिसूचना में कहा गया है कि यदि आधिकारिक रूप से दिए गए वैध दस्तावेज में नया पता शामिल नहीं है तो बिजली, टेलीफोन बिल, पोस्टपेउ मोबाइल बिल, पाइप गैस का बिल या बिजली का बिल पते के प्रमाण के रूप में दिया जा सकता है। हालांकि, ये बिल दो महीने से अधिक पुराने नहीं होने चाहिए।  

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