Edited By Punjab Kesari,Updated: 30 Jun, 2017 05:22 PM
हेल्थ केयर एवं डायग्नास्टिक्स सेवा क्षेत्र ने माल एवं सेवा कर (जी.एस.टी.) व्यवस्था में...
नई दिल्ली: हेल्थ केयर एवं डायग्नास्टिक्स सेवा क्षेत्र ने माल एवं सेवा कर (जी.एस.टी.) व्यवस्था में अपने लिए संतोष जताते हुए कहा है कि इससे इस क्षेत्र पर आर्थिक बोझ कम होगा और उपभोक्ताओं को भी इसका लाभ होगा।
एसआरएज डायग्नास्टिक्स के मुख्य कार्यकारी अरिंदम हल्दर ने आज एक बयान में कहा, जी.एस.टी. का सबसे बड़ा प्रभाव होगा सरकार द्वारा एकीकृत कर प्रणाली के चलते कीमतों की विषमता में कमी, जिसका सकारात्मक असर हेल्थकेयर एवं डायग्नोस्टिक सेक्टर पर पड़ेगा। नैदानिक सेवाओं पर जी.एस.टी. में छूट दी गई है और पहले 15 फीसदी कर अभिकर्मक (कैटिलिस्ट) और किट्स पर चुकाने का प्रावधान था,जिसमें अब जी.एस.टी. के तहत कमी आ जाएगी। इसलिए उम्मीद की जा रही है कि स्वास्थ्य सेवाएं अब लोगों के लिए ज़्यादा किफायती बन जाएंगी।
उन्होंने कहा कि हेल्थकेयर और डायग्नोस्टिक को सरकार ने महत्व दिया है। इस क्षेत्र का मानना है कि उसे जी.एस.टी. में छूट देने से लोगों को चिकित्सा सेवाएं आसानी से सुलभ कराने में मदद मिलेगी तथा इससे यह निजी एवं सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों के बीच का आर्थिक अंतराल दूर होगा।