GST में राहत के लिए जालंधर की स्पोर्ट्स इंडस्ट्री ने लगाई PM मोदी से गुहार

Edited By ,Updated: 24 May, 2017 10:05 AM

jalandhar  s sports industry put forward pm modi for relief in gst

एसोसिएशन ऑफ इंडियन स्पोर्ट्स गुड्स इंडस्ट्रीज (रजि.) की गवर्नमैंट अफेयर्स कमेटी के चेयरमैन रविन्द्र खुराना ने ...

जालंधर: एसोसिएशन ऑफ इंडियन स्पोर्ट्स गुड्स इंडस्ट्रीज (रजि.) की गवर्नमैंट अफेयर्स कमेटी के चेयरमैन रविन्द्र खुराना ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर अपील की है कि वह ‘वन नेशन-वन टैक्स’ की नीति के तहत लागू करने जा रहे जी.एस.टी. में व्यापारियों को पेश आ रही परेशानियों का समाधान भी निकालें।

छोटे स्तर के लोग भी जुड़े हैं स्पोर्ट्स इंडस्ट्री से
खुराना ने कहा, ‘‘देश भर में जालंधर की स्पोर्ट्स इंडस्ट्री सबसे पुरानी निर्यातक है, कठिनाइयों के बावजूद भी निर्यात के क्षेत्र में जालंधर के स्पोर्ट्स व्यापारियों ने कई किर्तीमान भी स्थापित किए हैं। स्पोर्ट्स इंडस्ट्री के साथ बहुत छोटे स्तर से ही लोग जुड़े हुए हैं, वे घरों में बैठकर फुटबाल, गलव्स व अन्य सामान की जहां कटिंग व सिलाई करते हैं वहीं जी.एस.टी. के लागू होने से उन्हें बहुत परेशानी हो सकती है जिससे स्पोर्ट्स इंडस्ट्री काफी प्रभावित होगी।’’ उन्होंने कहा कि व्यापारियों के लिए भी सरकार ने जो सेल-परचेज का नया ढांचा तैयार किया है वह सही नहीं है क्योंकि पहले 3 माह बाद व्यापारी सामान के सेल-परचेज की रिटर्न फाइल करते थे परन्तु अब साल में 37 के लगभग रिटर्न भरना आसान नहीं होगा।

अकाऊंटैंटों पर ही निर्भर रहेंगे व्यापारी
चेयरमैन रविन्द्र ने बताया कि ऐसे में बड़े व्यापारी जहां हर समय हिसाब-किताब बनाने के लिए हमेशा अकाऊंटैंटों पर ही निर्भर रहेंगे वहीं छोटा व्यापारी तो अकाऊंटैंट के खर्च के साथ-साथ ऑनलाइन सिस्टम लगाने के लिए भी चिंतित है। पहले मध्यम वर्गीय व्यापारी पार्टटाइम अकाऊंटैंट से काम चला लेते थे परन्तु जी.एस.टी. के बाद मैनुअल बिलिंग के बंद होने से भी व्यापारी की परेशानी काफी बढ़ेगी।

सरकार को देना चाहिए ध्यान
खुराना ने बताया कि खेलों को मिनिस्ट्री ऑफ ह्यूमन रिसोर्सेज एंड डिवैल्पमैंट की ओर से शिक्षा नीति का ही हिस्सा माना गया है क्योंकि शिक्षा भी स्पोर्ट्स के बिना अधूरी है इसीलिए शिक्षण संस्थानों में स्पोर्ट्स भी बच्चों के लिए अनिवार्य है। ऐसे में एजुकेशन की तरह ही स्पोर्ट्स के सामान पर भी जी.एस.टी. में छूट दी जाए। खुराना ने स्पोर्ट्स शूज, फुटबाल स्टड, स्पोर्ट्स व्हिसल, जिम के सामान को जी.एस.टी. मुक्त करने की मांग की। खुराना ने मांग पत्र में फिटनैस के सामान पर 6.5 प्रतिशत टैक्स को बढ़ाकर 28 प्रतिशत जी.एस.टी. लागू करने और माल की टाइम बाऊंड डिलीवरी का भी विरोध किया है। उन्होंने मांग पत्र की कापी केन्द्रीय वित्त मंत्री अरुण जेतली, पंजाब सरकार के वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल को भेजते हुए स्पोर्ट्स इंडस्ट्री को तुरंत राहत देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यदि सरकार ने इस ओर जल्द ध्यान न दिया तो स्पोर्ट्स इंडस्ट्री बंद होकर रह जाएगी।

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