शत्रु संपत्ति विधेयकः अब 1 लाख करोड़ रुपए वसूलेगी मोदी सरकार

Edited By ,Updated: 17 Mar, 2017 01:25 PM

modi government to recover rs 1 lakh crore from enemy property

संसद के दोनों सदनों से शत्रु संपत्ति (संशोधन एवं प्रमाणीकरण) विधेयक 2016 पारित होने के साथ...

नई दिल्ली: संसद के दोनों सदनों से शत्रु संपत्ति (संशोधन एवं प्रमाणीकरण) विधेयक 2016 पारित होने के साथ सरकार के लिए एक लाख करोड़ रुपए से अधिक का राजस्व हासिल करने का रास्ता खुल गया है। इससे सरकार को वित्तीय घाटे पर नियंत्रण करने में मदद मिल सकती है। इस बिल से कस्टोडियन ऑफ एनिमी प्रॉपर्टी के ऑफिस को शत्रु संपत्ति बेचने की शक्ति मिलेगी, जिसकी पुराने एनिमी प्रॉपर्टी ऐक्ट, 1968 के तहत अनुमति नहीं थी।

सन् 1968 के ऐक्ट के जरिए नियुक्त किए गए इस ऑफिस को 1962 के भारत-चीन युद्ध और 1965 और 1971 के भारत-पाक युद्ध के बाद बची शत्रु संपत्तियों की रखवाली, प्रबंधन और प्रशासन की जिम्मेदारी दी गई थी। गृह मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले इस ऑफिस को अब इसके पास मौजूद संपत्तियों के निपटारे की ताकत मिल गई है। जानकारी के मुताबिक देश में पाकिस्तानी नागरिकों की 11,882 एकड़ में फैली 9,280 अचल संपत्तियां हैं।

क्या है शत्रु संपत्ति संशोधन बिल
राज्यसभा करीब 50 साल पुराने शत्रु संपत्ति कानून में संशोधन संबंधित बिल को पास कर चुका है। इस बिल में युद्ध के बाद पाकिस्तान और चीन पलायन कर गए लोगों की तरफ से छोड़ी गई संपत्ति पर उत्तराधिकार के दावों को रोकने के प्रावधान किए गए हैं। विभाजन या युद्ध के बाद गए लोगों की छूटी प्रॉपर्टी के दावों से निपटने के प्रावधान हैं। इसके मुताबिक पलायन करके वहां की नागरिकता लेने वाले लोगों की संपत्ति जब्त कर ली जाएगी। भारत में रह रहे उत्तराधिकारियों का भी उनकी छूटी संपत्ति पर कोई अधिकार नहीं रहेगा। संशोधनों से ज्यादातर मुस्लिम समुदाय के लोगों के प्रभावित होने से ये मामला विवाद में भी है। संसद से पारित होने के बाद यह बिल इस संबंध में सरकार की तरफ से जारी किए गए ऑर्डिनेंस का स्थान लेगा।

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