इस भारतीय मूल के COO की सैलरी 500 करोड़ रुपए

Edited By ,Updated: 29 May, 2016 03:39 PM

nikesh arora receives usd 73 million pay package

जापानी दूरसंचार कम्पनी साफ्टबैंक के अध्यक्ष व सी.आे.आे. निकेश अरोड़ा को बीते वित्त वर्ष में लगभग 7.3 करोड़ डॉलर (500 करोड़ रुपए)

तोक्यो: जापानी दूरसंचार कम्पनी साफ्टबैंक के अध्यक्ष व सी.आे.आे. निकेश अरोड़ा को बीते वित्त वर्ष में लगभग 7.3 करोड़ डॉलर (500 करोड़ रुपए) का वेतन पैकेज मिला और वे लगातार दूसरे साल दुनिया में सबसे अधिक भुगतान पाने वाले कार्यकारियों में से एक रहे। 

भारत में जन्में अरोड़ा को 31 मार्च, 2015 को समाप्त वित्त वर्ष में 7.3 करोड़ डॉलर का वेतन पैकेज मिला जिसमें साफ्टबैंक की इन इकाइयों से मिला 1.41 करोड़ डॉलर का मुआवजा भी शामिल है। मीडिया रिपोर्ट में साफ्टबैंक के एक बयान का हवाले से यह जानकारी दी गई है। इस वेतन के साथ अरोड़ा पहले ही जापान के सबसे अधिक भुगतान पाने वाले कार्यकारी हैं। उनका वेतन पैकेज एप्पल के टिम कुक व वाल्ट डिज्नी के बॉब इगर के वेतन के दायरे में है। पूर्व वित्त वर्ष में अरोड़ा को 13.5 करोड़ डॉलर का वेतन पैकेज मिला था जिसमें कम्पनी से जुडऩे का बोनस शामिल था। 

सॉफ्टबैंक से 2014 में जुड़े थे
 गूगल में एक्जीक्यूटिव रहे निकेश 2014 में सॉफ्टबैंक से जुड़े थे।
≈ उस समय उन्हें 1005 करोड़ रुपए (15 करोड़ डॉलर) वेतन मिला था।
≈ यह जापान में किसी एक्जीक्यूटिव को दिया गया सबसे अधिक वेतन था। 
≈ उनके इस वेतन में साइनिंग बोनस भी शामिल था।

ऐसे हुई शुरूआत

≈ 60 से ज्यादा देशों का भ्रमण कर चुके निकेश अरोड़ा कहते हैं- ‘किस्मत मेहनत के अलावा नए-नए हालात से तालमेल बिठाने की क्षमता से मिलती है सफलता।
≈ एक वायुसेना अधिकारी के बेटे निकेश अरोड़ा ने दिल्ली के एयरफोर्स स्कूल से प्रारंभिक शिक्षा प्राप्त की।
≈ 1989 में आई.आई.टी. वाराणसी से इलैक्ट्रॉनिक इंजीनियरिंग की स्नातक डिग्री प्राप्त करने के बाद वे अमरीका पहुंच गए।
 यहां उन्होंने बोस्टन कॉलेज और नाॅर्थ ईस्टर्न यूनिवर्सिटी से बिजनेस मैनेजमेंट की डिग्रियां प्राप्त कीं।
≈ अमरीका में ही करियर शुरू करना चाहा, पर कई नौकरियों ने उन्हें ठुकरा दिया तो कई को वे खुद छोड़ आए।
≈ 2004 में निकेश अरोड़ा ने अपनी मोबाइल वर्चुअल कम्पनी स्थापित करने की योजना बनाई, पर एक दोस्त ने उन्हें गूगल ज्वॅाइन करने की सलाह दी।

गूगल के बाद सॉफ्ट बैंक
≈ गूगल की नौकरी निकेश को खूब रास आई। यहां टॉप सेल्स एग्जीक्यूटिव की हैसियत से उन्होंने कई नए विज्ञापन स्रोत मार्कीट खोले और गूगल की आय बढ़ाई।
≈ वे सीनियर वाइस प्रेसीडेंट चीफ बिजनेस अधिकारी के पद तक पहुंच गए और 2013 में गूगल के सबसे ज्यादा वेतन पाने वाले कर्मचारी बन गए।
≈ गूगल के संस्थापक-लैरी पेज सर्गेई ब्रिन के अलावा चेयरमैन, एरिक श्मिट के बाद वे चौथे सबसे पॉवरफुल एग्जीक्यूटिव बन गए।
≈ लैरी पेज के अनुसार-‘निकेश कई गूगलर्स के लीडर, एडवाइजर और मेंटर हैं, हम उन्हें मिस करते हैं।’
≈ 2014 में निकेश ने गूगल को अलविदा कहा और सॉफ्ट बैंक जापान के ग्लोबल इंटरनैट इन्वेस्टमेंट बिजनेस के हेड बन गए।
 उनके कार्यकाल में सॉफ्ट बैंक का भारत इंडोनेशिया में निवेश बढ़ा।
 सॉफ्ट बैंक के सी.ई.ओ. मासायोशी सोन ने कहा है- ‘मेरे उत्तराधिकारी के रूप में निकेश अरोड़ा का मैं स्वागत करता हूं।
 वे मुझसे उम्र में 10 साल छोटे हैं, पर मुझसे ज्यादा सक्षम हैं।’ गोल्फ के शौकीन निकेश कहते हैं- ‘मैं कहीं भी रहूं, दिल से भारतीय हूं।’

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