Edited By ,Updated: 29 Dec, 2016 05:52 PM
नैशनल स्टॉक एक्सचेंज (एन.एस.ई.) के अनुसार एक स्वतंत्र एजेंसी ने अपनी जांच में पाया है कि कुछ ब्रोकर्स को गलत तरीके से सर्वर तक एक्सेस दिया गया है।
नई दिल्लीः नैशनल स्टॉक एक्सचेंज (एन.एस.ई.) के अनुसार एक स्वतंत्र एजेंसी ने अपनी जांच में पाया है कि कुछ ब्रोकर्स को गलत तरीके से सर्वर तक एक्सेस दिया गया है। आपको बता दें कि बुधवार को ही एनएसई ने अपने ड्राफ्ट पेपर्स जमा कराएं है।
IPO पर पड़ेगा असर
एनएसई का कहना है कि एजेंसी ने अपनी जांच में पाया है कि कुछ कर्मचारी इस तरह के एक्सेस को उपलब्ध कराने में शामिल हैं। हालांकि एनएसई इस बात को लेकर स्पष्ट नहीं है कि यह सांठगांठ का मामला है या नहीं। एक्सचेंज ने यह भी कहा कि उसकी ट्रेडिंग प्रणाली में इस तरह की धोखेबाजी का खतरा है। हालांकि प्रोटोकॉल की कमी के कारण कुछ पुराने कर्मचारियों के ई-मेल व अन्य जानकारी उपलब्ध नहीं है। इस तरह की जांच एनएसई के आने वाले आईपीओ पर असर डाल सकता है।
जुटाए जा सकते हैं 100 करोड़ डॉलर
बैंकर्स ने बताया था कि आईपीओ के जरिए एक्सचेंज 100 करोड़ डॉलर जुटा सकता है, जो कि वर्ष 2010 में आए कोल इंडिया के बाद से अबतक का सबसे बड़ा आईपीओ साबित हो सकता है। एनएसई का कहना है कि उसने मार्कीट रेगुयुलेटर सेबी (सिक्योरिटी) को लिस्टिंग को मंजूरी देने के लिए रिपोर्ट सौंप दी है। एक्सचेंज की ओर से कहा गया कि सेबी की ओर से लिया गया कोई भी फैसला हमारे बिजनेस पर नकारात्मक असर डाल सकता है।