Edited By Punjab Kesari,Updated: 25 Feb, 2018 01:43 PM
पंजाब नैशनल बैंक (पी.एन.बी.) घोटाले के असर से विदेशी निवेशकों ने इस महीने अब तक शेयर बाजारों से करीब 10 हजार करोड़ रुपए (1.5 अरब डॉलर) निकाले। पी.एन.बी. ने 14 फरवरी को आभूषण कारोबारियों नीरव मोदी और मेहुल चौकसी समूह की कंपनियों द्वारा बैंक से...
नई दिल्लीः पंजाब नैशनल बैंक (पी.एन.बी.) घोटाले के असर से विदेशी निवेशकों ने इस महीने अब तक शेयर बाजारों से करीब 10 हजार करोड़ रुपए (1.5 अरब डॉलर) निकाले। पी.एन.बी. ने 14 फरवरी को आभूषण कारोबारियों नीरव मोदी और मेहुल चौकसी समूह की कंपनियों द्वारा बैंक से धोखाधड़ी का खुलासा किया था। यह घोटाला 11,400 करोड़ रुपए का है।
डिपॉजिटरी के ताजा आंकड़ों के अनुसार, विदेशी पोर्टपोलियो निवेशकों (एफ.पी.आई.) ने एक फरवरी से 23 फरवरी के बीच कुल 9,899 करोड़ रुपए की शुद्ध निकासी की है। हालांकि इस दौरान उन्होंने ऋण बाजार में 1,500 करोड़ रुपए का निवेश किया है। जनवरी में एफ.पी.आई. ने 13,780 करोड़ रुपए का निवेश किया था।
आनलाइन निवेश मंच 'ग्रो' के सह-संस्थापक एवं मुख्य परिचालन अधिकारी हर्ष जैन ने कहा, "जनवरी में अमेरिका में बेरोजगारी दर 17 साल के निचले स्तर 4.1 फीसदी पर रही। इसके अलावा इस बात की भी काफी आशंकाएं हैं कि मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने के लिए फेडरल रिजर्व ब्याज दर बढ़ा सकता है। हमने वैश्विक स्तर पर बिकवाली देखी है। भारतीय बाजार से एफ.पी.आई. की निकासी के कारण यही हैं।"
इंटेलिस्टॉक्स की मुख्य निवेश सलाहकार नलिनी जिंदल ने कहा कि अमेरिका में मुद्रास्फीति कई साल के निचले स्तर पर है जिससे फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दर बढ़ाने की आशंकाएं बलवती हुई हैं। इसके कारण एफ.पी.आई. सतर्कता बरत रहे हैं।