Edited By Punjab Kesari,Updated: 12 Dec, 2017 11:36 AM
शहर में कई जगह पर खाली जमीन पड़ी है। अब इसका सही इस्तेमाल किए जाने की प्लानिंग पर काम शुरू हो गया है।
पंचकूला(आशीष) : शहर में कई जगह पर खाली जमीन पड़ी है। अब इसका सही इस्तेमाल किए जाने की प्लानिंग पर काम शुरू हो गया है। इससे लोगों को रोजगार मिलेगा। शहर का विकास होगा और सरकार को भी रैवेन्यू मिलेगा। पहली बार राज्य में पंचकूला शहर का इंटीग्रेटेड इकोनॉमिक डिवैल्पमैंट प्लान बनाया जा रहा है। इसके पीछे मकसद शहर की डिवैल्पमैंट चंडीगढ़ शहर जैसी करनी है।
डिवैल्पमैंट प्लान के लिए टाऊन एंड प्लानिंग डिपार्टमैंट ने जिलास्तर के विभिन्न विभाग के अधिकारियों की सहमति से शहर का एक खाका तैयार किया गया है। पूरे शहर में कहां-कहां विकास कार्य हो सकेगा, इसके लिए डिपार्टमैंट की ओर से कंसलटैंसी कम्पनी को इस महीने के अंत तक वर्क अलॉट किया जाएगा। यह पूरे शहर का सर्वे करेगी और सर्वे रिपोर्ट के आधार पर डिवैल्पमैंट होगी।
आंकड़ों के मुताबिक :
एम.डी.सी. सैक्टर-5, सैक्टर-5, पिंजौर-कालका अर्बन कॉ प्लेक्स, सैक्टर-31, 32 सहित ग्रामीण एरिया में खाली जमीन को डिवैलप किया जाएगा। पंचकूला शहर में करीब 5 हजार एकड़ जमीन है, इसमें से 20 प्रतिशत खाली है। श्री माता मनसा देवी अर्बन काम्पलैक्स में करीब 1550 एकड़, पंचकूला एक्सटेंशन में 3003 एकड़, पिंजौर-कालका अर्बन काम्प्लैक्स में 11800 एकड़ और पंचकूला एक्सटैंशन-2 में 7201 एकड़ है।
शहर की आबादी बढ़ी :
1971-72 में पंचकूला बना था। उस सयम आबादी करीब सवा लाख थी। 2011 के सैंसस रिपोर्ट के मुताबिक शहर की जनसंख्या 2.11 लाख थी जो कि अब बढ़कर करीब 4 लाख हो चुकी है। यह आबादी 33 सेक्टर्स की है। इनमें 26 रैजीडैंशियल सेक्टर्स, 2 कमर्शियल सेक्टर्स, 2 इंडस्ट्रियल सेक्टर्स, कुछ इंस्टीट्यूशनल सेक्टर्स और आईटी पार्क भी शामिल हैं। इसके हिसाब से पंचकूला का आर्थिक विकास इंफ्रास्ट्रक्चर को डेवलप किया जाना है।