पैरिफेरी कंट्रोल एक्ट ने रोकी सोलर सिटी की रफ्तार

Edited By Punjab Kesari,Updated: 24 Jun, 2017 01:16 PM

solar city

चंडीगढ़ प्रशासन का शहर को मॉडल सोलर सिटी के तौर पर डिवैल्प करने का कांसैप्ट फिलहाल पूरा होता नजर नहीं आ रहा है।

चंडीगढ़(विजय) : चंडीगढ़ प्रशासन का शहर को मॉडल सोलर सिटी के तौर पर डिवैल्प करने का कांसैप्ट फिलहाल पूरा होता नजर नहीं आ रहा है। प्रशासन के पास इतनी जमीन नहीं है जहां पर कोई मेगा प्रोजैक्ट तैयार किया जा सके जबकि दूसरी ओर एग्रीकल्चर लैंड में सोलर प्लांट लगाने के लिए कईं तरह की अड़चनें सामने आ रही हैं। 

 

कुछ दिन पहले चंडीगढ़ प्रशासक ने पंजाब और हरियाणा की तर्ज पर शहर में भी चेंज ऑफ लैंड यूज (सी.एल.यू.) के लिए कोई पॉलिसी तैयार करने के लिए कहा था। इसके बदौलत एग्रीकल्चर लैंड में भी सोलर प्रोजैक्ट लगाकर मिनिस्ट्री ऑफ न्यू एंड रिन्यूअबल एनर्जी (एम.एन.आर.ई.) के द्वारा 2022 तक दिए गए 50 मैगावॉट के टारगेट को हासिल किया जा सके लेकिन अब अधिकारियों द्वारा बताया गया है कि पैरिफेरी कंट्रोल एक्ट में संशोधन करने पर ही चंडीगढ़ में एग्रीकल्चर लैंड में सोलर प्लांट्स लगाए जा सकते हैं। यानि सी.एल.यू. को लेकर चंडीगढ़ में कोई पॉलिसी नहीं बन सकती है बल्कि इसके लिए पार्लियामैंट ही एक्ट में संशोधन कर सकती है। यानि एग्रीकल्चर लैंड को चंडीगढ़ प्रशासन सोलर प्लांट के जरिए बिजली जैनरेट करने को यूज नहीं कर सकता है। 

 

इंजीनियरिंग डिपार्टमैंट लगाई थी ऑब्जैक्शन : 
चंडीगढ़ रिन्यूअल एनर्जी साइंस एंड टैक्नोलॉजी प्रोमोशन सोसाइटी (क्रेस्ट) ने चंडीगढ़ के रूरल एरिया में किसानों से एग्रीकल्चर लैंड में सोलर पैनल लगाने के लिए बात भी कर ली थी। किसान भी सोलर एनर्जी के लिए जमीन प्रोवाइड करवाने के लिए तैयार थे लेकिन इंजीनियरिंग डिपार्टमैंट की ओर से कहा गया कि सी.एल.यू. के बिना इस तरह से एग्रीकल्चर लैंड पर सोलर पैनल लगाना पॉसिबल नहीं है। जानकारी के अनुसार चंडीगढ़ में अभी सोलर एनर्जी से बिजली जैनरेट की जा रही है इतनी चंडीगढ़ में इस वक्त करीब 213 बिल्डिंग्स में सोलर प्लांट लग चुके हैं। हर रोज 10 मैगावॉट बिजली सोलर प्लांट्स के जरिए जैनरेट की जा रही है।

 

क्रेस्ट उठाएगा अधिकारियों के समक्ष मामला :
सी.एल.यू. का प्रोविजन खत्म होने के बाद अब क्रेस्ट प्रशासनिक अधिकारियों के सामने फाइल मूव करने जा रहा है। जिसमें पैरिफेरी कंट्रोल एक्ट की बात कही गई है। इस एक्ट के तहत चेंज सी.एल.यू. का बैनिफिट एग्रीकल्चर लैंड में प्रशासन नहीं ले सकता है। बल्कि इसके लिए पार्लियामैंट से एक्ट में संशोधन करवाना पड़ेगा। इसमें अगर आगे बढ़ते हैं तो वैसे ही काफी टाइम निकल जाएगा जिसका मतलब ये कि चंडीगढ़ की एग्रीकल्चरल लैंड में अब प्लांट्स लगाने की प्लानिंग  पूरी नहीं पाएगी।


 

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!