Edited By ,Updated: 19 Dec, 2016 10:43 AM
घर-कार्य स्थान की साज-सज्जा में फर्नीचर की अहम भूमिका होती है। घर में फर्नीचर-लकड़ी लाने से पहले सोच-विचार करें, फिर उसे खरीदें अन्यथा नुकसान का सामना करना पड़ेगा। वास्तु शास्त्रियों
घर-कार्य स्थान की साज-सज्जा में फर्नीचर की अहम भूमिका होती है। घर में फर्नीचर-लकड़ी लाने से पहले सोच-विचार करें, फिर उसे खरीदें अन्यथा नुकसान का सामना करना पड़ेगा। वास्तु शास्त्रियों द्वारा बताए गए टिप्स का रखें ध्यान
* मंगलवार, शनिवार और अमावस्या के दिन फर्नीचर नहीं खरीदना चाहिए।
* शुभ मुहूर्त देखकर फर्नीचर खरीदें।
* घर पर फर्नीचर बनवाना हो तो मुहूर्त के अनुसार घर पर लकड़ी लाएं।
* फर्नीचर खरीदने से पूर्व लकड़ी का ठीक से जायजा लें। सकारात्मक पेड़ की लकड़ी शुभ प्रभाव देती है, वहीं नकारात्मक पेड़ की लकड़ी अशुभता का संचार करती है।
* आर्थिक नुकसान से बचने के लिए हल्का फर्नीचर उत्तर और पूर्व दिशा में सजाएं, भारी भरकम फर्नीचर दक्षिण और पश्चिम दिशा में रखें।
* हल्के रंग का फर्नीचर घर में पॉजिटिव एनर्जी का कारक बनता है, गहरे रंग का फर्नीचर नैगेटिव।
* कमरे की छत से टकराता फर्नीचर अशुभ होता है।
* फर्नीचर के नुकीले किनारे खतरनाक होने के साथ-साथ निषेधात्मक होते हैं।
* कार्यालय या दफ्तर में स्टील के फर्नीचर का इस्तेमाल करने से मुनाफे के योग बने रहते हैं। व्यापार में तरक्की होती है।
* कॉर्नर्स वाले फर्नीचर का जहां तक संभव हो इस्तेमाल न करें। ये अच्छा नहीं मान जाता।