Edited By ,Updated: 02 Mar, 2017 10:31 AM
विवाह के उपरांत जब पति-पत्नी मिलकर परिवार का निर्माण करते हैं तो उनका मकान घर बन जाता है। गृहणियां भरपूर प्रयास करती हैं की
विवाह के उपरांत जब पति-पत्नी मिलकर परिवार का निर्माण करते हैं तो उनका मकान घर बन जाता है। गृहणियां भरपूर प्रयास करती हैं की उनके परिवार में कभी तकरार न हो और पारिवारिक सदस्यों में प्रेम बना रहे। कहा जाता है की जहां दो बर्तन होते हैं वहां आवाज तो होती है। कभी पति-पत्नी के बीच मन-मुटाव तो कभी बच्चों में नोक-झोंक। यहां कुछ ऐसे उपाय बताय जा रहे हैं, जिन्हें गृहिणी करेगी तो उनका घर-परिवार खुशहाल बना रहेगा। गृहणियों को हमेशा अपने बाल बांध कर रखने चाहिए। जो महिलाएं बाल खुले रखती हैं उनके घर सदा अशांति का माहौल बना रहता है। वह जितना भी प्रयास कर लें जीवन में वो मुकाम कभी हासिल नहीं कर पाती, जिसकी उन्हें चाह होती है।
सूर्यास्त के समय तिल के तेल में कपूर मिलाकर घर के पूजा घर में दीपक लगाएं।
शिव-पार्वती मंदिर में गेंदे के फूल पर कुमकुम लगा कर अर्पित करें, गृह क्लेश खत्म होगा।
एक कागज पर लाल स्याही से पति का नाम लिखें 21 बार 'हं हनुमंते नम:' मंत्र का जाप करें। अब इस कागज को अपने बैडरूम में छुपा कर रख दें। दांपत्य में आई दूरियां नजदीकियों में बदलेंगी।
व्यापार में घाटा हो रहा हो या कर्ज बढ़ गया हो तो अभिमन्त्रित एकाक्षी श्रीफल को सिंदूर लगा कर सूर्योदय से पूर्व चौराहे पर रखवा दें अथवा वैष्णों देवी मन्दिर (जम्मू-कश्मीर), मां काली का साक्षात स्वरूप भैवाल माता (राजस्थान), काली मन्दिर, कालका (दिल्ली) में चढ़ा दें।
लावारिस शव का दाह-संस्कार करना, असहाय रोगी की सेवा करना, गरीब की पुत्री की शादी में धन देना, बिना सींग की गाय का दान करना पितरों तथा परमात्मा की सर्वश्रेष्ठ पूजा है। उक्त उपयोग करने से रोगी रोग मुक्त हो जाता है, विद्यार्थी विद्या ग्रहण करता है, दाम्पत्य सुख प्राप्त होता है, उजड़ा हुआ घर पुन: बस सकता है। ये अचूक प्रयोग हैं, आवश्यकता केवल श्रद्धा एवं विश्वास की है।