Edited By Punjab Kesari,Updated: 06 Mar, 2018 01:26 PM
पति-पत्नी का रिश्ता शांतिमय व खुशहाल हो, इसके लिए उन दोनों के बीच तालमेल होना बहुत जरूरी है। लेकिन घर के कुछ वास्तु दोषों के कारण इनके बीच की यह तालमेल बन नहीं पाती और रिश्ता संवरने की बजाएे बिगड़ने लगता है।
पति-पत्नी का रिश्ता शांतिमय व खुशहाल हो, इसके लिए उन दोनों के बीच तालमेल होना बहुत जरूरी है। लेकिन घर के कुछ वास्तु दोषों के कारण इनके बीच की यह तालमेल बन नहीं पाती और रिश्ता संवरने की बजाएे बिगड़ने लगता है। इतना ही नहीं इसके कारण दंपति को संतान सुख मिलने में देरी भी हो सकती है। तो आईए जानें कुछ एेसे वास्तु टिप्स जिन्हें अपनाने से पति-पत्नी के बीच का रिश्ता अच्छा हो सकता है।
अगर संतान सुख पाने में देरी हो रही है तो पति-पत्नी को संतान प्राप्ति तक उत्तर-पश्चिम दिशा या उत्तर दिशा में सोना चाहिए। इसी दिशा में शयनकक्ष बनवाएंगे तो प्रेम बढ़ता है और जल्दी ही संतान प्राप्ति की इच्छा पूरी हो सकती है।
जब पति-पत्नी एक ही बैड पर दो अलग-अलग गद्दों का उपयोग करते हैं तो इनके बीच मतभेद बढञने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं। इसीलिए बैड पर एक ही बड़े गद्दे का उपयोग करें।
पति-पत्नी के रिश्ते को मजबूत बनाए रखने के लिए बैड को कभी भी घर के बीम के नीचे न लगाएं। बीम के नीचे सोने से अलगाव बढ़ सकता है।
पति-पत्नी के संबंधों में मजबूती बनाए रखने के लिए शयन कक्ष की दीवारों का रंग गुलाबी या पीला करना चाहिए।
वैवाहिक जीवन में मधुरता बनाए रखने के लिए घर में रोजाना या कम से कम सप्ताह में एक बार नमक मिले पानी से पौंछा लगाएं।
यदि पति-पत्नी के बीच कुछ ज्यादा ही वाद-विवाद होते रहते हैं तो घर के लिए गेहूं शनिवार को ही पिसवाना चाहिए। गेहूं पिसवाते समय कुछ काले चने भी डाल देना चाहिए।
पति-पत्नी जिस कमरे में सोते हैं, उस कमरे में ड्रैसिंग टेबल नहीं रखना चाहिए। अगर ड्रैसिंग टेबल उसी कमरे में रखना हो तो उसे इस प्रकार रखें कि सोते और उठते समय उस पर नजर न पड़े। रात को सोने से पहले आयने को किसी चादर से ढंक देना चाहिए।
पति-पत्नी में मधुर संबंधों के लिए बैडरुम की दीवार पर राधा और श्रीकृष्ण, खिले हुए गुलाब या हंसते हुए बच्चे की फोटो लगाना शुभ रहता है।
पति-पत्नी के बीच का प्रेम और विश्वास बनाए रखने के लिए बिस्तर एकदम साफ रखना चाहिए। चादर दो-तीन दिनों पर बदलते रहें।
पति-पत्नी के संबंधों में परस्पर प्रेम बढ़ाने के लिए शयनकक्ष में बिस्तर पर लाल-गुलाबी चादर या कंबल या रजाई का प्रयोग करने से भी काफी लाभ मिलता है। शयनकक्ष में कोई भी जल का स्रोत या पानी की फोटो या असली पौधे नहीं रखना चाहिए।