Edited By ,Updated: 05 Dec, 2016 02:03 PM
भारतीय मूल के एक छात्र ने ‘उबाऊ’ पढ़ाई के लिए ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के खिलाफ मुकदमा किया है क्योंकि उसका कहना है कि इसके कारण उसे द्वितीय श्रेणी की डिग्री...
लंदन:भारतीय मूल के एक छात्र ने ‘उबाऊ’ पढ़ाई के लिए ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के खिलाफ मुकदमा किया है क्योंकि उसका कहना है कि इसके कारण उसे द्वितीय श्रेणी की डिग्री मिली और इस वजह से वकील के तौर पर अपने करियर में उसकी आय प्रभावित हुई।
फैज सिद्दीकी ने विश्वविद्यालय के ब्रासनोस कॉलेज में आधुनिक इतिहास की पढ़ाई की थी।उसने कॉलेज के कर्मचारियों पर भारतीय साम्राज्य संबधी इतिहास से संबंधित अपने विशेष विषय पाठ्यक्रम के ‘लापरवाह’ शिक्षण का आरोप लगाया और कहा कि इसके कारण वर्ष 2000 में उसे कम अंक मिले।लंदन के हाई कोर्ट ने इस हफ्ते मामले में सुनवाई की।इस महीने के आखिर में अदालत फैसला सुना सकती है।
‘द संडे टाइम्स’ अखबार की खबर के मुताबिक सिद्दीकी के वकील रोजर मलालियू ने न्यायाधीश से कहा कि समस्या तब आई जब एशियाई इतिहास पढ़ाने वाले सात शिक्षण कर्मचारियों में से चार शैक्षणिक वर्ष 1999-2000 के दौरान अध्ययन अवकाश पर चले गए।सिद्दीकी का मानना है कि अगर उसे निचले ग्रेड नहीं मिले होते तो अंतर्राष्ट्रीय वाणिज्यिक वकील के तौर पर उसका करियर और बेहतर होता।
उसने कहा कि इस दौरान हुई पढ़ाई के ‘उबाऊ’ होने के कारण उसका करियर प्रभावित हुआ जिसके लिए विश्वविद्यालय जिम्मेदार है।सिद्दीकी अवसादग्रस्त है और उसे अनिद्रा की समस्या है।उसका कहना है कि इसका कारण ‘परीक्षाओं के उसके निराशाजनक नतीजे’ हैं।विश्वविद्यालय का कहना है कि यह दावा आधारहीन है और मामला खारिज कर दिया जाना चाहिए क्योंकि सिद्दीकी के पढ़ाई पूरी करने के बाद से काफी साल गुजर चुके हैं।