Edited By Punjab Kesari,Updated: 15 Jun, 2017 05:46 PM
चीन ने एससीआे में भारत एवं पाकिस्तान का स्वागत करते हुए आज इन आशंकाओं को खारिज कर दिया कि उनके मतभेद समूह की एकता को नुकसान पहुंचा सकते हैं। चीन ने कहा कि घोषणा पत्र ...
बीजिंग: चीन ने एससीआे में भारत एवं पाकिस्तान का स्वागत करते हुए आज इन आशंकाओं को खारिज कर दिया कि उनके मतभेद समूह की एकता को नुकसान पहुंचा सकते हैं। चीन ने कहा कि घोषणा पत्र में सदस्यों पर उनकी द्विपक्षीय शत्रुता को संगठन में लाने पर रोक लगाई गई है।
चीन के सहायक विदेश मंत्री कोंग शियानयू ने समूह के नए सदस्यों के तौर पर दोनों देशों का औपचारिक स्वागत करते हुए यहां एससीआे मुख्यालय में कहा,शंघाई सहयोग संगठन(एससीआे)के संस्थापक सदस्य के तौर पर हम भारत एवं पाकिस्तान के सदस्य बनने से खुश हैं। 8 सदस्यों वाले इस संगठन के अहम सदस्य चीन में संगठन का मुख्यालय है। भारत एवं पाकिस्तान के ध्वजारोहण के लिए इस मुख्यालय में आज एक समारोह आयोजित किया गया। चीन में भारत के राजदूत विजय गोखले और उनके पाकिस्तानी समकक्ष मसूद खालिद इस समारोह में शामिल हुए। भारत एवं पाकिस्तान को आठ-नौ जून को कजाखस्तान की राजधानी अस्ताना में आयोजित एससीआे शिखर सम्मेलन में सदस्य के तौर पर औपचारिक रूप से शामिल किया गया था।
भारत एवं पाकिस्तान के अलावा चीन, रूस, कजाखस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान और उजबेकिस्तान इसके सदस्य हैं। अफगानिस्तान, बेलारूस, ईरान एवं मंगोलिया इसके पर्यवेक्षक हैं। समारोह में शिरकत करने वाले कोंग ने संवाददाताओं से संक्षिप्त बातचीत में सरकारी चीनी मीडिया की इन आशंकाओं को खारिज किया कि भारत एवं पाकिस्तान के प्रवेश से एससीआे की एकजुटता पर नकारात्मक असर पड़ सकता है। उन्होंने कहा,एससीआे के घोषणापत्र में यह प्रावधान है कि द्विपक्षीय संबंधों में शत्रुता संगठन के बीच नहीं आनी चाहिए।मेरा मानना है कि दोनों देश संगठन के इस प्रावधान का पालन करेंगे। कोंग ने कहा कि भारत एवं पाकिस्तान के बीच के मतभेदों को बढ़ा - चढ़ा कर नहीं देखना चाहिए।उन्होंने कहा,एससीआे के प्रक्रिया संबंधी अपने नियम हैं। हमारा मानना है कि सभी सदस्य देश इन नियमों का पालन कर सकते हैं