Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Mar, 2018 10:05 PM
पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की असेंबली ने सिख समुदाय की शादियों को कानूनी दर्जा मुहैया कराने के लिए बुधवार को सर्वसम्मति से एक विधेयक पारित किया। पंजाब प्रांत की असेंबली ने‘ पंजाब सिख आनंद कराज विवाह अधिनियम-2017’ को सर्वसम्मति से पारित किया। यह पहली...
लाहौर: पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की असेंबली ने सिख समुदाय की शादियों को कानूनी दर्जा मुहैया कराने के लिए बुधवार को सर्वसम्मति से एक विधेयक पारित किया।
पंजाब प्रांत की असेंबली ने‘ पंजाब सिख आनंद कराज विवाह अधिनियम-2017’ को सर्वसम्मति से पारित किया। यह पहली बार होगा कि पाकिस्तानी पंजाब प्रांत में सिख समुदाय के पारिवारिक मामलों का नियमन अलग से होगा। असेंबली के सदस्य सरदार रमेश सिंह अरोड़ा ने यह विधेयक पेश किया था। यह विधेयक 1909 के आनंद विवाह कानून के स्थान पर पारित हुआ है। राज्यपाल की संतुति के बाद विधेयक कानून की शक्ल में लागू हो जाएगा।
अरोड़ा ने कहा कि इस विधेयक के कानून के शक्ल में लागू होने के बाद सिखों की शादियों का पंजीकरण करने वाला दुनिया का पहला देश बन जाएगा। उन्होंने कहा, ‘‘ विधेयक का पारित होना पंजाबी- सिख मित्रता का परिणाम है।’’इस विधेयक के मुताबिक18 साल से कम उम्र का कोई सिख लड़का या लड़की कानूनन शादी नहीं कर सकता। पाकिस्तान सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष सरदार तारा सिंह ने कहा, ‘‘ सिख समुदाय के लिए कोई कानून नहीं था, लेकिन अब पारिवारिक मामलों का निपटारा संबंधित कानून के तहत किया जाएगा।’’