Edited By Punjab Kesari,Updated: 19 Dec, 2017 11:09 AM
यरुशलम को इस्राइल की राजधानी के रूप में मान्यता देने के फैसले पर सोमवार को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अमरीका अलग-थलग पड़ गया। लेकिन, अपने फैसले पर अड़े अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस फैसले को वापस लेने की सुरक्षा परिषद की मांग पर वीटो...
वॉशिंगटनः यरुशलम को इस्राइल की राजधानी के रूप में मान्यता देने के फैसले पर सोमवार को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अमरीका अलग-थलग पड़ गया। लेकिन, अपने फैसले पर अड़े अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस फैसले को वापस लेने की सुरक्षा परिषद की मांग पर वीटो कर दिया।
सुरक्षा परिषद के बाकी बचे 14 सदस्यों ने मिस्त्र के मसौदा प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया। हालांकि इस प्रस्ताव में अमरीका या ट्रंप का जिक्र नहीं किया गया है, लेकिन साफ तौर पर यरुशलम के दर्जे को लेकर हालिया फैसले पर गहरी चिंता व्यक्त की गई है। मसौदे में यह भी कहा गया है कि यरुशलम की स्थिति, चरित्र और जनसंख्या अनुपात में किसी भी तरह के बदलाव का कोई कानूनी प्रभाव नहीं होगा।
मालूम हो कि ट्रंप ने इसी महीने दशकों पुरानी अमरीकी नीति को बदलते हुए यरुशलम को इस्राइल की राजधानी के रूप में मान्यता दे दी थी। इस फैसले पर फिलीस्तीन और अरब देशों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की थी। वहीं, इस निर्णय ने अमरीका के पश्चिमी सहयोगियों की चिंता भी बढ़ा दी थी। वहीं, ट्रंप इस फैसले तक ही सीमित नहीं रहना चाहते। उनकी योजना अमरीकी दूतावास को तेल अवीव से यरुशलम स्थानांतरित करने की भी है।