Chaturmas: चातुर्मास में बढ़ जाती हैं भगवान शिव की शक्तियां, आवश्यक हो तो ऐसे करें शुभ काम
Edited By Niyati Bhandari,Updated: 27 Jun, 2023 07:50 AM
देवशयनी एकादशी पर संसार के पालनहार भगवान विष्णु जाएंगे पाताल लोक में राजा बलि के घर विश्राम करने। शास्त्रों के अनुसार, भगवान विष्णु देवशयनी एकादशी से देवप्रबोधिनी एकादशी तक पाताल में
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Auspicious work in chaturmas: देवशयनी एकादशी पर संसार के पालनहार भगवान विष्णु जाएंगे पाताल लोक में राजा बलि के घर विश्राम करने। शास्त्रों के अनुसार, भगवान विष्णु देवशयनी एकादशी से देवप्रबोधिनी एकादशी तक पाताल में बलि के महल में निवास करते हैं। इस दौरान 29 जून से लेकर 23 नवंबर तक शुभ कामों पर लगेगा विराम। ज्योतिषाचार्य कहते हैं की अब देवउठनी एकादशी (23 नवंबर) से मांगलिक कार्यों का शुभ आरंभ होगा।
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सावन, भादो, अश्विन व कार्तिक मास में विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन संस्कार, यज्ञोपवीत, नींव मुहर्त आदि शुभ कार्य वर्जित रहेंगे। पंडितों का मानना है की अवश्यक हो तो भोलेनाथ का नाम लेकर शुभ काम किया जा सकता है क्योंकि इन चार महीनों (चातुर्मास) में भगवान शिव की शक्तियां बढ़ जाती हैं।
धार्मिक कार्यों का आधार भगवान विष्णु ही हैं। भगवान शिव को प्रसन्न करने से श्री हरि का आशीर्वाद स्वयं ही प्राप्त हो जाता है। एक पूजा से प्राप्त होता है दो देवों का वरदान। इन चार महीनों में सभी तीर्थ ब्रज में आ कर निवास करते हैं इसलिए ब्रज यात्रा करने से अक्षय पुण्यों की प्राप्ति होती है। इसके अतिरिक्त व्रत, हवन, दान, श्रीहरिनाम संकीर्तन, भगवद्कथा के श्रवण व कीर्तन का अन्य दिनों से अधिक फल मिलता है।