Edited By Punjab Kesari,Updated: 24 Sep, 2017 12:50 PM
पश्चिम बंगाल की दुर्गा पूजा में हर साल अलग-अलग थीम पर पंडाल सजाने की परंपरा है...
कोलकाता: पश्चिम बंगाल की दुर्गा पूजा में हर साल अलग-अलग थीम पर पंडाल सजाने की परंपरा है। लेकिन कोलकाता के दुर्गा पूजा पंडाल में डाक्टरों को राक्षस दिखा कर विवाद पैदा हो गया। इस पंडाल में मां दुर्गा की मूर्ति को जिस महिषासुर का वध करते हुए दिखाया गया है वो डाक्टर के भेष में है। सिटी मेडिकल कम्यूनिटी ने इसका विरोध किया जिसके बाद मुख्यमंत्री ममता बेनर्जी के आदेश के बाद दुर्गा पंडाल से डाक्टरों को राक्षस के रूप में दिखाना बंद कर दिया गया।
डाक्टरों ने दी चेतावनी
इससे पहले पंडाल के आयोजकों ने अंतर स्पष्ट करने के लिए मूर्ति के साथ एक बोर्ड भी लगाया था जिसमें लिखा था कि यह पुतला केवल फर्जी डाक्टरों को दिखाता है। बोर्ड में लिखा गया कि हम फर्जी चिकित्सकों का विरोध करते हैं और ईमानदार डाक्टरों का सम्मान। डाक्टरों को ने इसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई और सोशल मीडिया पर विरोध करने की चेतावनी दी। कई डाक्टरों ने इस घटना को पूरे समुदाय के लिए खतरनाक बताया और कहा कि इससे मेडिकल जगत के खिलाफ हिंसा को बढ़ावा मिलेगा।
आईएमए ने भी किया इसका विरोध
इस मामले में दुर्गा कमिटी के चेयरमैन और पूर्व एमएलए दिनेश बजाज ने कहा कि हमने यह महसूस किया कि हमारा प्रयास कुछ लोगों को बिल्कुल नागवार गुजरा। हालांकि हमारा मकसद किसी को आहत करना नहीं था। वहीं डॉक्टर्स फॉर पेशंट (डीओपीए) के शरदवत मुखोपाध्याय ने कहा कि डॉक्टरों को पहले ही काफी परेशान व उत्पीड़ित किया जा चुका है और कई बार उनका अपमान भी हो चुका है। इस घटना का विरोध इंडियन मेडिकल अएसोसिएशन (आईएमए) ने भी किया था।