सीमा पर चीनी सेना का अतिक्रमण रोकने के लिए ITBP का नया प्लान

Edited By Punjab Kesari,Updated: 15 Oct, 2017 06:18 PM

itbp created the first mechanized unit for quick deployment on china border

अपने 50 साल से ज्यादा के इतिहास में पहली बार भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) बड़े वाहनों की मशीनीकृत टुकड़ी और मशीनों को तैनात कर ...

नई दिल्ली: अपने 50 साल से ज्यादा के इतिहास में पहली बार भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) बड़े वाहनों की मशीनीकृत टुकड़ी और मशीनों को तैनात कर रही है ताकि चीनी सेना के अतिक्रमण और डोकलाम जैसे गतिरोधों की स्थिति में भारत-चीन सीमा पर सैनिकों को इकक्ठा किया जा सके।

अर्धसैनिक बल में सेना जैसी लड़ाकू इकाई बनाने का फैसला तब लिया गया जब केंद्रीय गृह मंत्रालय ने हाल में सभी ऊंचाई वाली सीमा चौकियों पर ‘स्नो स्कूटर’ तैनात करने की मंजूरी दी। गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम का खुलासा नहीं करने की शर्त पर बताया कि बल की मशीनीकृत टुकड़ी में 250 स्पोर्ट यूटिलिटी व्हीकल (एसयूवी), ऑल-टेरेन व्हीकल (एटीवी), स्नो स्कूटर, एक्सकेवेटर और मध्यम स्तर के कुछ अन्य चार पहिया वाहन शामिल होंगे।

अधिकारी ने बताया कि थलसेना में मशीनीकृत इंफैंट्री है। लेकिन सीमा की रक्षा में तैनात इस बल में मशीनीकृत टुकड़ी जरूरी थी, क्योंकि शांति के समय यही बल सीमा की रक्षा करता है और किसी युद्ध या संघर्ष की स्थिति में पहला हमला इसे ही झेलना पड़ता है। अभी तक गृह मंत्रालय के तहत आने वाले सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के पास ही एक आॢटलरी इकाई और कुछ मशीनीकृत दस्ते हैं ताकि उसे मदद मिल सके। बीएसएफ भारत-पाक सीमा की रक्षा करता है।

अधिकारी ने बताया कि कुछ समय पहले आईटीबीपी मुख्यालय ने बल के तहत एक पूर्णकालिक मशीनीकृत टुकड़ी बनाने का प्रस्ताव पेश किया था। बल के महानिदेशक आर के पचनंदा ने इस बाबत मंत्रालय को खास तौर पर प्रस्तुति भी दी थी। आईटीबीपी में कुल 90,000 जवान हैं।

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