Edited By Punjab Kesari,Updated: 27 Oct, 2017 02:54 PM
चीन की वन बेल्ट वन रोड (ओबीओआर) नीति के जवाब में अमेरिका, भारत और ऑस्ट्रेलिया के साथ मिलकर जापान नई रणनीतिक परियोजना बना रहा है। चीन की ओबीओआर के जवाब में जापान हाई-स्पीड रोड नेटवर्क योजना लाएगा, जो एशिया को अफ्रीका से जोडग़ी। इस नई परियोजना में...
इंटरनेशनल डेस्क: चीन की वन बेल्ट वन रोड (ओबीओआर) नीति के जवाब में अमेरिका, भारत और ऑस्ट्रेलिया के साथ मिलकर जापान नई रणनीतिक परियोजना बना रहा है। चीन की ओबीओआर के जवाब में जापान हाई-स्पीड रोड नेटवर्क योजना लाएगा, जो एशिया को अफ्रीका से जोड़ेगी। इस नई परियोजना में भारत, अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया की अहम भूमिका होगी। जापान के विदेश मंत्री तारो कोनो ने बताया कि प्रधानमंत्री शिंजो आबे 6 नवंबर को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से अपनी मुलाकात में इस परियोजना का प्रस्ताव सामने रख सकते हैं। इस परियोजना के तहत चारों देश जमीन और समुद्र के रास्ते से अपने कारोबार और सुरक्षा मामलों में सहयोग करेंगे।
इस योजना से भारत को होगा फायदा
भारत ने चीन के ओबीओआर का विरोध जताया था, जबकि पाक अधिकृत कश्मीर की ओर से उस पर अपनी सहमति दे दी गई थी। अगर चारों देशों के बीच यह योजना अमल में लाई जाती है, तो इससे भारत को फायदा होगा। इस योजना में एशिया को अफ्रीका से जोडऩे वाले हाई स्पीड रोड नेटवर्क और बंदरगाहों का निर्माण किया जाएगा। यह चीन की महात्वाकांक्षी योजना है। एशिया के बाजारों तक पहुंचने के लिए वह सड़कों का जाल तैयार कर रहा है, जिससे उसके बाजारों का विस्तार हो सके। सूत्रों के अनुसार अमेरिकी विदेश रेक्स टिलरसन ने भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को सलाह दी थी कि भारत और अमेरिका दक्षिण एशिया से लेकर चीन के ओबीओआर तक भारत और अमेरिका को सड़कें और बंदरगाह बनाने चाहिए।