Edited By ,Updated: 28 Sep, 2016 11:48 AM
दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल के बीच जंग फिर तेज हाे गई है। अब दिल्ली सरकार ने उपराज्यपाल नजीब जंग द्वारा पिछले महीने 'आप' सरकार के फैसलों से जुड़ी फाइलों की जांच
नई दिल्लीः दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल के बीच जंग फिर तेज हाे गई है। अब दिल्ली सरकार ने उपराज्यपाल नजीब जंग द्वारा पिछले महीने 'आप' सरकार के फैसलों से जुड़ी फाइलों की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमिटी को गैरकानूनी बताया है। सीएम अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की मीटिंग में तय किया गया कि डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया कमेटी के तीनों मेंबर्स को लिखेंगे कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने तक वे अपना काम न करे।
400 से ज्यादा फाइलें तलब
डिप्टी सीएम ने इस मसले पर हुई चर्चा के बारे में बताया कि एलजी के पास इस तरह की कोई कमेटी गठित करने की पावर ही नहीं है और इस लिहाज से यह कमेटी पूरी तरह से गैरकानूनी है। सिसोदिया ने बताया कि एलजी ने जो तीन सदस्यीय कमिटी बनाई है, वह हाई कोर्ट का आदेश आने से पहले सरकार की ओर से लिए गए फैसलों की कथित तौर पर जांच कर रही है। 400 से ज्यादा फाइलें तलब की गई थी और ऑफिसर्स को भी बुलाया जा रहा है।
सरकार का कामकाज ठप्प
उन्होंने कहा कि ऐसे हालात बन गए हैं कि सरकार का कामकाज ठप्प हो गया है और ऑफिसर्स भी परेशान हैं। एलजी ने पिछले महीने तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया था। तीन सदस्यीय इस कमिटी में पूर्व नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक वी. के. शुंगलू, पूर्व चुनाव आयुक्त एन. गोपाल स्वामी और पूर्व मुख्य सतर्कता आयुक्त प्रदीप कुमार शामिल हैं। इस कमेटी को फाइलों में कमियों की जांच करने और व्यक्तिगत तौर पर जिम्मेदारी भी निर्धारित करने को कहा गया था। फाइलों की जांच के बाद यदि कोई सिविल या आपराधिक मामला हुआ तो उसकी जिम्मेदारी भी तय करेगी।