Edited By ,Updated: 10 Feb, 2016 08:12 PM
कर्नाटक के रहने वाले लांस नायक हनुमंथप्पा कोप्पाड के सियाचिन ग्लेशियर में 6 दिनों तक बर्फ के नीचे दबे रहने के बाद चमत्कारिक रूप से बचने की खबर पर परिवार ने राहत की सांस ली है।
धारवाड़: कर्नाटक के रहने वाले लांस नायक हनुमंथप्पा कोप्पाड के सियाचिन ग्लेशियर में 6 दिनों तक बर्फ के नीचे दबे रहने के बाद चमत्कारिक रूप से बचने की खबर पर परिवार ने राहत की सांस ली है। धारवाड़ जिले के कुंडागोल तालुक के बेटादूर गांव में रहने वाली हनुमंथप्पा की पत्नी महादेवी ने कहा, उनकी प्रार्थना ने सियाचिन में उन्हें मौत के बचा लिया। यह हम सबके लिए पुनर्जन्म है।
हनुमंथप्पा हिमस्खलन के बाद 6 दिनों तक 25 फुट नीचे बर्फ में गड़े रहने के बाद कल जिंदा पाए गए। करीब 19600 फुट की उंचाई पर स्थित उनकी चौकी हिमस्खलन के प्रभाव में आ गई जहां तापमान शून्य से 45 डिग्री सेल्सियस कम था। महादेवी ने कहा कि जब इस त्रासदी का पता चला तो परिवार एक दुखदायी स्थिति से गुजर रहा था लेकिन उनके जिंदा होने की खबर से चेहरे पर मुस्कान लौट आई है।
उन्होंने कहा, हम सभी रो रहे थे और लगभग उम्मीद छोड़ चुके थे। मुझे पता नहीं चल रहा था कि क्या करूं, मेरी डेढ़ वर्ष की बेटी है। हनुमनथप्पा के जिंदा होने की खबर पर परिवार का हर शख्स खुशी से रो पड़ा। मां बोली- बेटा सपने में आकर बोला था कि लौटकर आऊंगा। लो आ गया। जबकि पिता का कहना है कि उसका नाम ही हनुमनथप्पा है। उसे कौन मार सकता है। बता दें कि हनुमंथप्पा फिलहाल नई दिल्ली में सेना के रिसर्च और रेफरल अस्पताल मे वेंटीलेटर पर हैं।