Edited By Punjab Kesari,Updated: 19 Sep, 2017 04:32 PM
दुनिया में 85 करोड़ 30 लाख लोग भुखमरी का शिकार है। जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों और हिंसक संघर्षों के कारण पिछले एक दशक में पहली बार इस साल वैश्विक......
संयुक्त राष्ट्र: दुनिया में 85 करोड़ 30 लाख लोग भुखमरी का शिकार है। जलवायु परिवर्तन के दुष्प्रभावों और हिंसक संघर्षों के कारण पिछले एक दशक में पहली बार इस साल वैश्विक स्तर पर भुखमरी में 11 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज हुई है। संयुक्त राष्ट्र की ओर से 2030 तक के लिए तय सतत विकास लक्ष्य के तहत पहली बार वैश्विक स्तर पर खाद्य सुरक्षा और पोषण पर रोम में जारी की गई रिपोर्ट में यह खुलासा किया गया है।
खतरे की घंटी
रिपेार्ट में कहा गया है कि गत वर्ष भूखे लोगों की संख्या दुनिया में जहां 81 करोड़ 50 लाख थी वहीं इस साल तीन करोड़ 80 लाख बढ़कर 85 करोड़ 30 लाख हो गई है। इसके पीछे जलवायु परिवर्तन और दुनिया के विभिन्न हिस्सों में हो रहे हिंसक संघर्षों की बड़ी भूमिका है। संयुक्त राष्ट्र की पांच प्रमुख एजेंसियों के अध्यक्षों ने रिपोर्ट की संयुक्त प्रस्तावना में लिखा है, यह खतरे की घंटी है जिसे हम अनसुना नहीं कर सकते। जब तक हम मिलकर खाद्य सुरक्षा के लिए खतरा पैदा करने वाले कारणों को खत्म करने का प्रयास नहीं करेंगे, तब तक 2030 तक दुनिया से कुपोषण खत्म करने का लक्ष्य हासिल नहीं हो पाएगा। एक सुरक्षित और समग्र रूप से विकसित समाज के लिए यह पहली शर्त है।
वैश्विक आर्थिक मंदी ने भी किए हालत खराब
रिपोर्ट के अनुसार दुनिया में भुखमरी और कुपोषण से ग्रस्त बच्चों की संख्या सबसे ज्यादा हिंसाग्रस्त क्षेत्रों में है। दक्षिणी सूडान इसका ज्वलंत उदाहरण है। इस साल के शुरु में यहां अकाल पड़ा था। युद्ध ग्रस्त नाइजीरिया, सोमालिया और यमन में भी कुछ ऐसे ही हालात हैं। संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, जिन क्षेत्रों में शांति है वहां भी हालात सामान्य नहीं है। वहां जलवायु परिवर्तन कहर बरपा रहा है। अल नीनो के प्रभाव से इन क्षेत्रों में सूखे और बाढ़ जैसी प्राकृतिक विपदाएं खाद्यान्न संकट उत्पन्न कर रही हैं। इसके अलावा वैश्विक आर्थिक मंदी ने भी हालात खराब किए हैं।
यह रिपोर्ट संयुक्त राष्ट्र के खाद्य एवं कृषि संगठन, अंतरराष्ट्रीय कृषि विकास कोष, बाल विकास कोष, विश्व खाद्य कार्यक्रम और विश्व स्वास्थ्य संगठन की ओर से मिलकर तैयार की गयी है। खाद्य एवं कृषि संगठन की वरिष्ठ अर्थशास्त्री सिंडी होलमैन ने रिपोर्ट पर कहा, भुखमरी विकराल रूप ले रही वैश्विक समस्या है। इससे लोगों का स्वास्थ्य और जीवन बुरी तरह प्रभावित हो रहा है। यह बड़ा संकट है। इससे मिलकर निबटना होगा।