Edited By ,Updated: 02 Mar, 2015 04:21 PM
मौसम में आए बदलाव के कारण एक बार फिर इस जानलेवा बीमारी स्वाइन फ्लू का खतरा बढ़ गया है। डाक्टरों की मानें तो इस मौसम में एच 1 एन 1 वायरस को काफी मदद मिल रही है, इसलिए सतर्क होना जरूरी है।
जालंधर: मौसम में आए बदलाव के कारण एक बार फिर इस जानलेवा बीमारी स्वाइन फ्लू का खतरा बढ़ गया है। डाक्टरों की मानें तो इस मौसम में एच 1 एन 1 वायरस को काफी मदद मिल रही है, इसलिए सतर्क होना जरूरी है।
आपको बता दें कि मौसम वैज्ञानिकों की मानें तो 7 मार्च के बाद से तापमान में बढ़ोतरी होने की संभावना जताई है। जिसके बाद अुनमान लगाया जा रहा है कि स्वाइन फ्लू के कहर से सहमे शहरवासियों को इस महीने से स्वाइन फ्लू जैसी धातक बीमारी से निजात मिल सकती है। लेकिन मौसम का मिजाज बदलने से ये खतरा बढ़ता जा रहा है।
डॉक्टरों का मानना है कि स्वाईन फ्लू का एच 1 एन 1 वायरस गर्मी को सहन नहीं करता और तापमान 30 डिग्री सेल्सियस के पार होते ही इस वायरस के खत्म होने के आसार बढ़ जाते हैं। मौजूदा समय में तापमान 26 डिग्री सेल्सियस के आसपास है। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार 7 मार्च के बाद इसमें यह 5-6 डिग्री सेल्सियस की बढ़ोतरी हो सकती है। लिहाजा अगले हफ्ते से तापमान 30 डिग्री से 33 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ सकती है। जिससे स्वाइन फ्लू जैसी घातक बीमारी से लोगों को निजात मिलना लाजमी है।