हिमाचल मंत्रिमंडल ने जेपी कंपनी को दी प्रोजैक्ट बेचने की अनुमति

Edited By ,Updated: 01 Jul, 2015 09:36 AM

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राज्य सरकार ने जेपी कंपनी के 2 बड़े पावर प्रोजैक्टों को जिंदल गु्रप (जेएसडब्ल्यू एनर्जी लिमिटेड) को बेचने की अनुमति प्रदान कर दी है।

शिमला: राज्य सरकार ने जेपी कंपनी के 2 बड़े पावर प्रोजैक्टों को जिंदल गु्रप (जेएसडब्ल्यू एनर्जी लिमिटेड) को बेचने की अनुमति प्रदान कर दी है। इसमें 1000 मैगावाट का कड़छम-वांगतू व 300 मैगावाट का बास्पा प्रोजैक्ट शामिल है। ये दोनों प्रोजैक्ट अधिक विद्युत उत्पादन करने एवं कर्मचारियों के आंदोलन के कारण विवादित रहे हैं। कंपनी पर आरोप है कि 1000 मैगावाट के कड़छम-वांगतू प्रोजैक्ट की उत्पादन क्षमता 1200 मैगावाट और 300 मैगावाट के बास्पा प्रोजैक्ट की उत्पादन क्षमता 350 मैगावाट है।

मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह की अध्यक्षता में आयोजित मंत्रिमंडल बैठक में इन दोनों प्रोजैक्टों को बेचने की अनुमति प्रदान की गई। अब इसे खरीदने वाली कंपनी को राज्य और प्रोजैक्ट प्रभावितों के प्रति सभी देनदारियों का भुगतान करना होगा। इन दोनों प्रोजैक्टों को दोबारा से विज्ञापित किया जाएगा। इसी तरह राज्य सरकार ने लंबे समय से आबंटित 20 छोटे पावर प्रोजैक्टों में काम शुरू न करने पर इन्हें रद्द करने के अलावा इनकी सिक्योरिटी को भी जब्त कर लिया है। मंत्रिमंडल ने निर्धारित समय में विद्युत परियोजनाआें के क्रियान्वयन में असफल रहने और प्रदेश सरकार को हुए राजस्व नुक्सान के दृष्टिगत 1.50 मैगावाट की आनी-2 और 1.50 मैगावाट की आनी-3 जल विद्युत परियोजनाआें के आबंटन को रद्द करने का निर्णय लिया। ये परियोजनाएं वर्ष 2000 में मै.  एबीबी पावर प्राइवेट लिमिटेड को आबंटित की गईं थी।

मंत्रिमंडल ने पंजाब के समय में पंचायतों से लीजधारकों (चकौताधारकों) को राज्य सरकार की तरफ से 5 बीघा जमीन 100 रुपए प्रति बीघा की दर से देने की अनुमति दी, साथ ही इन्हें 15 बीघा जमीन पट्टे पर दी जाएगी। इसके लिए भी बहुत कम राशि ली जाएगी। बैठक में 2 स्थानों पर उपमंडलीय पुलिस कार्यालय खोलने की अनुमति दी गई। यह उपमंडलीय पुलिस कार्यालय कांगड़ा जिला के ज्वालामुखी और मंडी जिला के पधर में खुलेंगे। मंत्रिमंडल बैठक में उद्योग मित्र वातावरण उपलब्ध करवाने के दृष्टिगत विद्युत शुल्क में कटौती करने का निर्णय लिया गया है। इससे और अधिक निवेशकों को आकर्षित किया जा सके गा। यह घोषणा मुख्यमंत्री ने अपने बजट भाषण में की थी। बैठक में सोलन जिला के बद्दी के संदोली में सैंट्रल इंस्टीच्यूट ऑफ प्लास्टिक इंजीनियरिंग एंड टैक्रोलॉजी व्यावसायिक प्रशिक्षण केन्द्र स्थापित करने का निर्णय लिया गया। इसके लिए संस्थान के निदेशक को पट्टे के आधार पर भूमि हस्तांतरित करने का निर्णय लिया गया।

राज्य सरकार ने सिरमौर जिले के धौलाकुआं में भारतीय प्रबंधन संस्थान स्थापित करने के लिए भू-हस्तांतरण का निर्णय भी लिया है। इसे पहले ही यहां पर खोलने का निर्णय लिया जा चुका है और इसके लिए भू-हस्तांतरण नहीं हो पाया था। मंत्रिमंडल ने मोबाइल ट्रैफिक मैजिस्ट्रेट की 6 अदालतें स्थापित करने का भी निर्णय लिया है। इसके लिए सिविल जज (जूनियर डिवीजन) का रैंक देने के साथ ही सहायक स्टाफ भी उपलब्ध करवाया जाएगा। मंत्रिमंडल ने वर्ष, 2013 में सिरमौर जिला के पांवटा साहिब के समाह गांव में भारी बारिश के कारण जिन 36 परिवारों के मकान ढह गए थे, उन्हें नियमों में विशेष छूट देते हुए सरकारी भूमि हस्तांतरित करने को मंजूरी प्रदान की है। क्षेत्र के लोग लंबे समय से इसकी मांग कर रहे थे। मंडी मध्यस्थता योजना (एमआईएस) के अन्तर्गत खरीदे जाने वाले सेब के निपटान के लिए पुरानी व्यवस्था को कायम रखा जाएगा। इसके लिए मंत्रिमंडल ने प्रापण केन्द्रों के नजदीक सेबों की खरीद की व्यवस्था को वापस लेने का निर्णय लिया।

मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश सहकारी समितियां नियम, 1971 के नियम 56 के उप-नियम (3) में संशोधन किया है। इसके तहत पंजीयक, सहकारी समितियां से बिना पूर्व अनुमति नए कर्मचारियों की नियुक्तियों के लिए प्राथमिक समितियों की वित्तीय सीमा 1000 रुपए से बढ़ाकर 5000 रुपए और उप एवं उच्चतम समितियों के लिए यह सीमा 8000 रुपए प्रतिमाह तक बढ़ाने का निर्णय लिया। मंत्रिमंडल ने कांगड़ा जिला के नगरोटा बगवां में सिंचाई एवं जन स्वास्थ्य विभाग का एक नया मंडल सृजित करने का निर्णय लिया है, साथ ही टांडा में नया सिंचाई एवं जनस्वास्थ्य उपमंडल स्थापित करने का निर्णय लिया गया। इसके अलावा ज्वालामुखी, धर्मपुर, मंडी (ग्रामीण), सुजानपुर और शिलाई में नव सृजित उपमंडलीय निर्वाचन कार्यालयों में विभिन्न श्रेणियों में सूचना एवं प्रौद्योगिकी के पद सृजित करने का निर्णय लिया गया है, साथ ही मंत्रिमंडल ने शिमला जिला के क्व ार में हिमाचल प्रदेश लोक निर्माण विभाग का एक नया विश्राम गृह बनाने को स्वीकृति दी।

मंत्रिमंडल ने मनोरंजन शुल्क में छूट देने का निर्णय लिया है। इसके लिए मनोरंजन शुल्क अधिनियम 1968 की धारा-12(3) के अन्तर्गत अप्रैल, 2015 से 10 वर्षों की अवधि के लिए जादुई और सर्कस शो को मनोरंजन कर अदायगी में छूट देने का निर्णय लिया। मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश एयरो स्पोर्ट्स नियम 2004 में संशोधन को स्वीकृति प्रदान की है। बैठक में हिमाचल प्रदेश कोर्ट शुल्क (ई-स्टैंपिंग) नियम 2015 के कार्यान्वयन को भी स्वीकृति प्रदान की गई।

बैठक में द्वितीय विश्वयुद्घ के सैनिकों और उनकी विधवाआें को दी जाने वाली वित्तीय सहायता को 2000 रुपए से बढ़ाकर 3000 रुपए करने का निर्णय लिया गया। इसके अलावा मंत्रिमंडल ने अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति समुदायों के सदस्यों जो अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम, 1989 के अंतर्गत अत्याचार के पीडि़तों के मुआवजे, राहत व पुनर्वास अनुदान में बढ़ौतरी करने का निर्णय लिया है। बैठक में भारत सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुरूप असंगठित क्षेत्रों के कामगारों के पंजीकरण के लिए श्रम शक्ति पहचान अभियान के तहत असंगठित कामगारों को यूडब्ल्यूआईएन स्मार्ट कार्ड (सामाजिक सुरक्षा कार्ड) जारी करने का निर्णय लिया गया। यह कार्ड वर्तमान में राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना के अन्तर्गत पंजीकृत असंगठित कामगारों को भी दिए जाएंगे।

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