अमेरिका ने भारत को सौंपी 271 अवैध प्रवासी भारतीयों की सूची

Edited By ,Updated: 23 Mar, 2017 11:31 PM

list of 271 illegal migrant indians assigned to india

आईटी क्षेत्र के हितों की रक्षा के प्रति सरकार के गंभीर होने पर जोर देते हुए विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने....

नई दिल्ली: आईटी क्षेत्र के हितों की रक्षा के प्रति सरकार के गंभीर होने पर जोर देते हुए विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने वीरवार कहा कि अमेरिका ने 271 लोगों की एक सूची देते हुए दावा किया है कि वे अवैध रूप से रह रहे भारतीय हैं लेकिन सरकार ने उसे स्वीकार नहीं किया तथा और ब्यौरे की मांग की गई है।  


विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने राज्यसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों के जवाब में यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि भारत ने उनकी सूची को स्वीकार नहीं किया और उनसे ब्यौरा देने को कहा है ताकि उचित जांच की जा सके। इसके बाद ही उनकी वापसी के लिए जरूरी दस्तावेज जारी किए जा सकेंगे। उन्होंने विभिन्न सदस्यों द्वारा जताई गई चिंता को खारिज करते हुए कहा कि ट्रंप प्रशासन के सत्ता में आने के बाद अमेरिका की नीतियों में कोई बदलाव नहीं आया है।


सुषमा ने कहा कि एच1 वीजा, एल1 वीजा आदि के संबंध में अमेरिकी संसद (कांग्रेस) में चार विधेयक पेश किए गए हैं। लेकिन वे अभी तक पारित नहीं हुए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार भारतीय नागरिकों और आईटी क्षेत्र के हितों की रक्षा के लिए गंभीर है और इस संबंध में सरकार उच्चतम स्तर पर अमेरिका से बातचीत कर रही है। भारत सरकार का पहला प्रयास उनकी नौकरियों को बचाने का है। विदेश मंत्री ने कहा कि हमने उनसे कहा है कि हमारे आईटी पेशेवर उनकी नौकरियां नहीं ले रहे हैं बल्कि उनकी अर्थव्यवस्था में योगदान कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि विगत में आंकड़े आए थे कि अमेरिका में 1.14 करोड़ अवैध प्रवासी हैं जिनमें 2.60 लाख भारतीय हैं। 


उन्होंने कहा कि हम इस आंकड़े को स्वीकार नहीं करते क्योंकि बिना उचित जांच के एेसे प्रामाणिक नहीं माना जा सकता। उन्होंने कहा कि अमेरिका में बिना दस्तावेज के रह रहे भारतीय नागरिकों के बारे में कोई आधिकारिक आंकड़ा उपलब्ध नहीं है। 


 

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!