टेढ़े दांतों से यूं पाएं छुटकारा!

Edited By ,Updated: 28 Jan, 2016 04:19 PM

yun get rid of crooked teeth

खुश होने पर हंसी अपने आप ही हमारे चेहरे पर दस्तक देती है। कभी-कभी यह हंसी आउट ऑफ कंट्रौल हो जाती है और हंसते समय हमारे दांत बाहर आ जाते हैं लेकिन हमें उस समय बहुत बुरा लगता है जब हमारे टेढे-मेढे दांतों पर सबकी नजर पड़ती है।

खुश होने पर हंसी अपने आप ही हमारे चेहरे पर दस्तक देती है। कभी-कभी यह हंसी आउट ऑफ कंट्रौल हो जाती है और हंसते समय हमारे दांत बाहर आ जाते हैं लेकिन हमें उस समय बहुत बुरा लगता है जब हमारे टेढे-मेढे दांतों पर सबकी नजर पड़ती है।

टेढ़े-मेढे दांत हमारी पर्सनैलिटी पर काफी नैगटिव इम्पैक्ट डालती है। फीचर कितने भी शार्प क्यों न हो हमारे खराब और टेढ़े दांत सब पर पानी फेर देते हैं। इसके अलावा टेढ़े दांतों की वजह से बोल-चाल के कुछ शब्दों, जिसका उच्चारण करते समय हमें दातों का सहारा लेना पड़ता है, में रूकावट आती है। वहीं ऐसे दांतों को साफ करने में भी परेशानी होती हैं क्योंकि ब्रश ठीक ढंग से अडजैस्ट नहीं हो पाता। जाहिर सी बात है कि अगर दांतों पर ढंग से ब्रश नहीं होगा तो गंदगी जमा होगा जो बाद में दांतों के खराब होने का कारण बनते हैं। इसलिए टेढ़े-मेढ़े दांतो से छुटकारा पाना बहुत जरूरी है।

आज हम आपको टेढ़े दांतों से छुटकारा पाने के कुछ टिप्स बताते हैं। 

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दांतों में फिक्स्ड ब्रेसिज या तार लगाकर इन्हें सीधा किया जाता है। तार टेम्पररी या पर्मानेंट, दोनों तरह से ही लगाई जाती है। स्थाई तौर पर तार लगाने से दांतों पर दबाव डाला जाता है, जिससे दांत सही जगह पर सेट हो जाएं। 

-आर्थोडोन्टिक्स के इलाज के बाद मरीज को च्वुइंगम, टॉफी और चॉकलेट जैसी चीजें नहीं खानी चाहिएं तथा मीठे और ज्यादा ठंडे खाद्य पदार्थों का प्रयोग भी नहीं करना चाहिए। 

- वैसे तो किसी भी उम्र में आप टेढ़े दांतों का इलाज करवा सकते हैं लेकिन अगर इसका इलाज जल्दी हो तो बेस्ट है क्योंकि कम उम्र में जबड़े मुलायम रहते हैं। इलाज के परिणाम शीघ्र सामने आते हैं। 

इलाज के बाद भी रखें इन बातों का ख्याल

1. टेढ़े-मेढ़े दांतों के ट्रीटमेंट के बाद उसे ऐसे ही न छोड़ दें क्योंकि इसके बाद उनके सरकने और टेढ़े होने की संभावना बनी रहती है इसलिए समय समय पर डाक्टर से सलाह लेते रहें। 

2. बच्चे को हर छःमहीने के बाद डैंटिस्ट के पास लेकर जाएं ताकि उनकी आदतों जैसे कि अंगूठा चूसना, जींभ से बार-बार अपने ऊपरी दांतों को धकेलना, दांतों से होंठ अथवा गाल काटते रहना आदि आदतें जो दांतों को टेढ़ा-मेढा करती हैं,को हटाया जा सकें। 

3. अगर किसी बच्चे में मुंह से सांस लेने की आदत है तो भी इस आदत को दूर किया जाना चाहिए क्योंकि इस आदत की वजह से ऊपर वाले आगे के दांत बाहर की तरफ़ आने लगते हैं।

4. अगर आपके बच्चे के दूध वाले दांत नहीं गिरे लेकिन पास की गलत जगब पर पक्के दांत निकलने लगे हैं तो बच्चे को डैंटिस्ट के पास ले जाकर दूध के दांत निकलवाएं नहीं तो पक्के दांत वहीं फिक्स हो जाएंगे। 

5. अगर आप सोचते हैं कि डैंटिस्ट के पास जाकर टेढ़े-मेढ़े दांतों के बारे में बात करने का कोई फायदा नहीं है। यह बिल्कुल गलत हैं। आप नियमित रूप से हर छःमहीने बाद बच्चों को डैंटिस्ट के पास जाकर दांत चैक करवाते रहें। अगर कुछ प्रॉबल्म होगी तो वह साथ-साथ ठीक होती रहेगी।

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