Edited By ,Updated: 10 Jul, 2016 09:21 AM
वीरवार शाम को फ्रांस के खिलाफ अपनी पसंदीदा टीम को आत्मघाती गलती करते देखना आसान काम नहीं था। जर्मनी जैसी विश्व विजेता ...
शिल्टन का कॉलम
नई दिल्ली: वीरवार शाम को फ्रांस के खिलाफ अपनी पसंदीदा टीम को आत्मघाती गलती करते देखना आसान काम नहीं था। जर्मनी जैसी विश्व विजेता टीम ने पूरे मैच में दबदबा बनाए रखा और अंत में वह 2-0 की हार के साथ घर वापसी की। क्या वह हड़बड़ी का शिकार हो गई. क्यो उन्होंने अधिक कोशिश की मुझे ऐसी नहीं लगता ।
इस बात को ध्यान में रखते हुए कि पहले हाफ में उन्होंने गेंद पर 70 प्रतिशत कब्जा रखा, मुझे लगता है कि वे दबाव बनाकर खुश रहे होंगे और यह मात्र समय की बात थी कि वे अपना पहला गोल कर देते है। दूसरी तरफ फ्रांस ने काफी रक्षात्मक खेल दिखाया।
वहीं पुर्तगाल और वेल्स के मध्य खेले गए मैच की अलग ही कहानी रही जिसमें पुर्तगाल ने पूरे मैच में अपना दबदबा बनाए रखा। मेरे लिए रोनाल्डो टूर्नामैंट का सबसे बढ़िया फॉरवर्ड रहा जो पुर्तगाल को एक से दूसरे मैच में जिताता ले गया। वेल्स के खिलाफ उसका शानदार हैडर उसकी टीम को फाइनल में ले गय और हांलाकि मेजबान टीम भी पूरी तरह र्म में दिखाई दे रही लेकिन फिर भी मैं पुर्तगाल को अनदेखा नहीं कर सकता क्योंकि उनके पास रोनाल्डो हैं।