हथियार चलाना सीखेगी अमरीकी आर्मी

Edited By ,Updated: 06 Jul, 2015 06:53 PM

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थल सेना का विकास उनकी बंदूक चलाने की क्षमता पर निर्भर करता है। लेकिन लक्ष्य को भेदने की कला सीखने में समय लगता है। अमरीकी आर्मी ने शोध किया है जिसके तहत इस कला को ...

जालंधर : थल सेना का विकास उनकी बंदूक चलाने की क्षमता पर निर्भर करता है। लेकिन लक्ष्य को भेदने की कला सीखने में समय लगता है। अमरीकी आर्मी ने शोध किया है जिसके तहत इस कला को सेना रोबोट से सीखेगी। सेना एक रोबोटिक प्रोजेक्ट पर काम कर रही है जिसका नाम MAXFAS है।

MAXFAS के अंतरगत तार द्वारा संचालित हाथ की तरह का उपकरण शुटिंग के समय सैनिक के हाथ को संतुलित रखता है। यह उसी तरह काम करता है जैसा कि स्थिर कैमरा काम करता है। बंदूक में लगा कार्बन फाइबर बाॅडी जोकि काफी हल्का होता है, सैनिक के हाथ को संतुलित रखता है। साथ ही इससे सैनिकों को युद्ध के दौरान आगे बढ़ने में भी मदद मिलेगी।

सेना ने इस तकनीक को पूरी तरह अंजाम दे दिया है। इससे सैनिकों की मारक क्षमता में विकास होगा। साथ ही इस तकनीक से सेना को यह फायदा होगा कि इसे कहीं भी ले जाया जा सकता है और प्रक्षिशण शुरू किया जा सकता है।

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