अब बढ़ने लगा लोगों में अलगाववादियों के विरुद्ध गुस्सा

Edited By Punjab Kesari,Updated: 26 Jun, 2018 02:55 AM

anger against the separatists now started growing

1947 में अपनी स्थापना के समय से ही पाकिस्तानी शासकों ने भारत के विरुद्ध छेड़़े छद्म युद्ध की कड़ी में अपने पाले हुए आतंकियों व अलगाववादियों के जरिए कश्मीर में अशांतिफैलाने, दंगे करवाने, आतंकवाद भड़काने, गैर-मुसलमानों को यहां से भगाने, बगावत के लिए...

1947 में अपनी स्थापना के समय से ही पाकिस्तानी शासकों ने भारत के विरुद्ध छेड़़े छद्म युद्ध की कड़ी में अपने पाले हुए आतंकियों व अलगाववादियों के जरिए कश्मीर में अशांतिफैलाने, दंगे करवाने, आतंकवाद भड़काने, गैर-मुसलमानों को यहां से भगाने, बगावत के लिए लोगों को उकसाने और ‘आजादी’ की दुहाई देने का सिलसिला जारी रखा हुआ है। 

इन आतंकवादियों तथा अलगाववादियों को पाकिस्तान से आर्थिक मदद मिलती है और भारत सरकार भी इनकी सुरक्षा पर प्रतिवर्ष करोड़ों रुपए की भारी राशि खर्च करती है। जहां सीमा के दोनों ही ओर के आम लोग जलालत और दुख भरी जिंदगी जी रहे हैं वहीं ये आतंकवादी, अलगाववादी तथा उनके पाले हुए दूसरे लोग मजे कर रहे हैं। ये स्वयं तो आलीशान मकानों में ठाठ से जीवन बिताते हैं और इनके बच्चे देश के दूसरे हिस्सों व विदेशों में सुरक्षित रह रहे हैं। ये दूसरे देशों में ही विवाह रचाते और अपनी शिक्षा-दीक्षा एवं इलाज आदि करवाते हैं। 

ये घाटी में अशांति फैलाने के लिए जरूरतमंद बच्चों से पत्थरबाजी करवाते हैं परंतु अब इन अलगाववादियों का असली चेहरा उजागर होने लगा है और लोग इनकी पोल खोलने लगे हैं। इसका पहला उदाहरण 4 जून को मिला जब श्रीनगर के नौहटा मोहल्ले में सी.आर.पी.एफ. के वाहन से टकरा कर मारे गए पत्थरबाज के एक रिश्तेदार  युवक ने कश्मीरी अलगाववादी नेताओं की नेकनीयती पर सवाल उठाए। हुर्रियत नेता सईद अली शाह गिलानी पर सवाल उठाते हुए उक्त युवक ने अलगाववादियों पर कश्मीर के मुद्दे पर पाखंड करने और लाखों युवाओं को बहका कर अपनी राजनीति करने का आरोप लगाया। सोशल मीडिया पर वायरल 58 सैकेंड के वीडियो में वह कह रहा है कि : 

‘‘अलगाववादियों के रवैये में दोहरापन है। गिलानी साहब ने हमारे बच्चों को ईसाई स्कूलों में जाने से मना किया है जबकि अब वह अलगाववादी नेता शब्बीर शाह की बेटी समा को ‘दिल्ली पब्लिक स्कूल’ की छात्रा के रूप में परीक्षा में बेहतर प्रदर्शन करने पर बधाई दे रहे हैं।’’ हुर्रियत नेताओं पर निजाम-ए-मुस्तफा (इस्लाम आधारित शासन प्रणाली) से भटकने का आरोप लगाते हुए उसने कहा, ‘‘आप निजाम-ए-मुस्तफा लाएंगे? पैगम्बर (हजरत मोहम्मद) के उपदेश के खिलाफ, जिसमें उन्होंने मृतक को जल्द दफनाने को कहा है, हमारे चचेरे भाई के शव को सियासत की नुमाइश के लिए 3 घंटों तक सड़क पर रखा गया।’’ ‘‘क्या यही पवित्र पैगम्बर की शिक्षा है? आपके पास आने वाले बच्चों को सिवाय नारों के और क्या मिलता है? नेतृत्व क्या कर रहा है? लाखों लोग अब हुर्रियत से डरने लगे हैं।’’ 

इसी प्रकार अनंतनाग जिले में सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में मारे गए आई.एस. सरगना दाऊद अहमद सोफी का 2 मिनट 46 सैकेंड का एक ऑडियो 24 जून को वायरल हुआ है जिसमें उसने हुर्रियत तथा अन्य नेताओं की पोल खोल दी है और उन्हें ‘कौम का गद्दार’ बताते हुए कहा है कि : ‘‘हुर्रियत वालों ने 60 वर्षों से आतंकियों और पूरी कश्मीरी कौम से धोखा किया है। इन्होंने आतंकियों का खून बेचा है, इसलिए इनके साथ न जुड़ें।’’  जहां अब अलगाववादियों के इशारों पर चलने वाले ही उनकी पोल खोलने लगे हैं वहीं जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों के हाथों शहीद होने वालों के परिवारों में भी आतंकवादियों और अलगाववादियों के विरुद्ध भारी रोष और आक्रोश उत्पन्न हो रहा है। 

14 जून को आतंकवादियों द्वारा शहीद किए गए सेना के जवान औरंगजेब के पिता मोहम्मद हनीफ ने घाटी में फैले आतंकवाद के लिए आतंकवादियों के प्रति सरकार की कमजोर नीति को जिम्मेदार बताते हुए सरकार से औरंगजेब की शहादत का बदला लेने की मांग की है। इनका कहना है कि, ‘‘सरकार 2003 से आतंकवादियों का सफाया करने में लगी है परंतु अभी तक इसे सफलता नहीं मिली। अत: राजनीतिज्ञों और अलगाववादियों को श्रीनगर से बाहर निकाल कर आतंकवादियों के सफाए के लिए सेना को समूची घाटी छानने के लिए खुली छूट दे देनी चाहिए।’’ इस समय जबकि घाटी में जनजीवन अस्त-व्यस्त है, अलगाववादियों को यह बात समझ लेनी चाहिए कि उनकी दाल अब बहुत देर तक गलने वाली नहीं है, अत: उन्हें घाटी के हालात सुधारने में सहयोग देना चाहिए ताकि यहां शांति कायम हो व लोगों के जीवन में सुख, समृद्धि आ सके।—विजय कुमार   

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!