बिहार-झारखंड में अनुसूचित जाति से जुड़े 1449 मामले लंबित: आयोग

Edited By Punjab Kesari,Updated: 22 Apr, 2018 07:16 PM

cases related to scheduled castes pending in bihar and jharkhand

राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के सदस्य योगेंद्र पासवान ने कहा कि बिहार और झारखंड में इस समुदाय से जुड़े 1449 मामले अभी भी लंबित हैं तथा अनुसूचित जाति उत्पीड़न के निष्पादन के मामले में पुलिस को और भी तेजी लाने की आवश्यकता है। योगेंद्र ने कहा कि पटना...

पटनाः राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के सदस्य योगेंद्र पासवान ने कहा कि बिहार और झारखंड में इस समुदाय से जुड़े 1449 मामले अभी भी लंबित हैं तथा अनुसूचित जाति उत्पीड़न के निष्पादन के मामले में पुलिस को और भी तेजी लाने की आवश्यकता है। 

योगेंद्र ने कहा कि पटना स्थित बिहार और झारखंड के आयोग के राज्य कार्यालय में गत वर्ष एक जून तक 1560 मामले लंबित थे। उन्होंने बताया कि गत वर्ष एक जून को उनके आयोग के सदस्य के रूप में कार्यभार संभाले जाने के बाद से लेकर अब तक 646 नए मामले संबंधित आयोग के समक्ष आए। इस प्रकार गत वर्ष जून से लेकर अब तक कुल 2206 मामले आयोग के समक्ष आए जिनमें से बिहार के 757 मामलों का निष्पादन किया जा चुका है।

पासवान ने बताया कि उन्होंने बिहार के कुल 38 जिलों में से 31 जिलों का दौरा किया और इस दौरान 28 कल्याण छात्रावासों, 20 एससी आवासीय विद्यालयों और तीन कस्तूरबा विद्यालयों का निरीक्षण किया। उन्होंने बताया कि इन जिलों में आयोग की पहल पर 168 पीड़ित परिवारों के बीच एक करोड़ 92 लाख 96 हजार 200 रुपए का वितरण मुआवजे के तौर पर किया गया। योगेंद्र ने कहा कि इसमें मुख्य रूप से अनुसूचित जाति उत्पीड़न के 38 मामलों में आयोग द्वारा गंभीरता दिखाने पर पुलिस ने आरोपपत्र दायर किया तथा आयोग की पहल पर 39 आरोपियों की गिरफ्तारी हुई।

आयोग के सदस्य योगेंद्र ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार द्वारा प्रायोजित अनुसूचित जाति समुदाय के लिए चलाई जा रही लोक कल्याणकारी योजनाओं तथा उत्पीड़न के मामलों की आयोग द्वारा समीक्षा के दौरान बिहार में जिन जिलों में जहां भी जो कमियां सामने आईँ, उनमें त्वरित कार्रवाई के लिए जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिया गया।  

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