Edited By ,Updated: 27 Jan, 2015 09:57 PM
वित्त मंत्री अरुण जेतली ने आज कहा कि घरेलू और विदेशी निवेशक भारत के प्रति काफी उत्साह दिखा रहे हैं और हम इस अवसर को खोना नहीं चाहते हैं क्योंकि ...
नई दिल्लीः वित्त मंत्री अरुण जेतली ने आज कहा कि घरेलू और विदेशी निवेशक भारत के प्रति काफी उत्साह दिखा रहे हैं और हम इस अवसर को खोना नहीं चाहते हैं क्योंकि सब कुछ अभी हमारे अनुकूल हो रहा है।
जेतली ने केन्द्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सी.बी.ई.सी.) के एक कार्यक्रम में कहा कि अभी सभी परिस्थितियां हमारे पक्ष में दिख रही है। विकास दर में वृद्धि की उम्मीद की जा रही है और विदेशी मुद्रा भंडार भी रिकार्ड स्तर पर है। इसके साथ ही वित्तीय घाटा और चालू खाता घाटा भी नियंत्रण में है।
उन्होंने गैर विरोधाभासी कर प्रशासन देने की अपील करते हुए कहा कि हमे इस अवसर को खोने का जोखिम नहीं उठाना है और इसका बेहतर उपयोग करने के लिए हमें 2 प्रमुख चिंताओं को दूर करना होगा। नीतियों में स्थिरता और त्वरित निर्णय लेने के साथ ही कर तंत्र और कर प्रशासन में सुधार की जरूरत है।
वित्त मंत्री ने कहा कि इसके लिए तौर तरीके और सोच दोनो में बदलाव लाने की जरूरत है। हमें ऐसे कर तंत्र की जरुरत है जो गैर विरोधाभासी हो और निवेशको तथा करदाताओं के अनुकूल हो। उन्होंने कर अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि जो कर वूसले जाने योग्य है उसकी वसूली हर हाल में की जानी चाहिए और कर अपवंचको के विरूद्ध कार्रवाई की जानी चाहिए।
उन्होंने कहा कि पिछले 2 वर्षों में विनिर्माण में सुस्ती से राजस्व संग्रह प्रभावित रहा था, अब इसमें बदलाव हो रहा है और हम अपने वित्तीय लक्ष्य को हासिल कर लेंगें। उन्होंने कहा कि देश का विदेशी मुद्रा भंडार रिकार्ड स्तर पर है और चालू खाता घाटा की स्थिति भी बहुत अच्छी है।
इस मौके पर वित्त राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने कहा कि कर प्रशासन में अधिक पारदर्शिता लाने तथा प्रमाणित आंकडो और पुख्ता सूचना पर आधारित डाटा बेस बनाने की जरूरत है। उन्होंने कार्य दक्षता बढ़ाने के लिए विभिन्न एजैंसियों के बीच बेहतर तालमेल की भी वकालत की।
इस मौके पर जेतली ने उत्कृष्ट कार्य के लिए पिछले वर्ष गणतंत्र दिवस पर राष्ट्रपति पुरस्कार से नवाजे गए सी.बी.आई.सी. के अधिकारियों और कर्मचारियों को पुरस्कार प्रदान किए।