Edited By jyoti choudhary,Updated: 01 Mar, 2019 12:24 PM
देश की टॉप टेलिकॉम कंपनियों में शामिल भारती एयरटेल के बोर्ड ने इक्विटी और बॉन्ड सेल्स के जरिए 32,000 करोड़ रुपए (4.5 अरब डॉलर) तक जुटाने की योजना को स्वीकृति दी है। यह किसी भारतीय कंपनी की ओर से फंड जुटाने की सबसे बड़ी कोशिशों में से एक होगी।
कोलकाताः देश की टॉप टेलिकॉम कंपनियों में शामिल भारती एयरटेल के बोर्ड ने इक्विटी और बॉन्ड सेल्स के जरिए 32,000 करोड़ रुपए (4.5 अरब डॉलर) तक जुटाने की योजना को स्वीकृति दी है। यह किसी भारतीय कंपनी की ओर से फंड जुटाने की सबसे बड़ी कोशिशों में से एक होगी। इसमें से 25,000 करोड़ रुपए राइट्स इश्यू के जरिए और 7,000 करोड़ रुपए फॉरेन करंसी बॉन्ड से हासिल किए जाएंगे।
देश की दूसरी सबसे बड़ी टेलिकॉम कंपनी एयरटेल अपना कर्ज कम करने और फाइनैंसिंग कॉस्ट घटाने, कैश फ्लो बढ़ाने और कैपिटल एक्सपेंडिचर की जरूरतों के लिए फंड जुटाना चाहती है। रिलायंस जियो इंफोकॉम की प्राइस वॉर का मुकाबला करने के लिए एयरटेल अपनी वित्तीय स्थिति मजबूत करने की तैयारी कर रही है।
एयरटेल के राइट्स इश्यू का प्राइस 220 रुपए प्रति शेयर रखा गया है, जो सोमवार को बीएसई पर कंपनी के शेयर के 317.95 रुपए के बंद प्राइस से 30 फीसदी से अधिक का डिस्काउंट है। कंपनी 1.14 अरब शेयर्स इश्यू करेगी। इससे एयरटेल का इक्विटी बेस लगभग 22 फीसदी बढ़कर 5.13 अरब इक्विटी शेयर्स का हो जाएगा। राइट्स इश्यू में प्रत्येक 67 शेयर रखने वाले शेयरहोल्डर को 19 शेयर दिए जाएंगे।
कंपनी ने गुरुवार को स्टॉक एक्सचेंजों को बताया, 'भारती एयरटेल के बोर्ड ने डायरेक्टर्स की स्पेशल कमेटी के सुझावों पर विचार किया है और 32,000 करोड़ रुपए तक का फंड जुटाने की स्वीकृति दी है।' कंपनी मार्केट रेगुलेटर सेबी के पास अगले दो सप्ताह में राइट्स इश्यू के लिए रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस जमा कर सकती है। फंड जुटाने का प्रोसेस अगले फाइनैंशल ईयर के पहले क्वॉर्टर तक पूरा कर लिया जाएगा।