Edited By jyoti choudhary,Updated: 15 Feb, 2019 11:04 AM
उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को आम्रपाली समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक अनिल कुमार शर्मा से उनके खाते में मकान खरीदारों का 94 करोड़ रुपए होने को लेकर स्पष्टीकरण मांगा।
नई दिल्लीः उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को आम्रपाली समूह के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक अनिल कुमार शर्मा से उनके खाते में मकान खरीदारों का 94 करोड़ रुपए होने को लेकर स्पष्टीकरण मांगा। साथ ही शीर्ष अदालत ने कंपनी के 140 करोड़ रुपए के मूल्य के शेयर बहुराष्ट्रीय कंपनी जेपी मोर्गन से खरीदने वाले व्यक्ति का खुलासा करने को लेकर ‘अनिच्छा’ जताए जाने को गंभीरता से लिया तथा शर्मा को जेल भेजने की चेतावनी दी।
न्यायालय ने शर्मा को मकान खरीदारों का 6.55 करोड़ रुपए 28 फरवरी तक लौटाने के लिए एक अंतिम मौका दिया। यह पैसा उन्होंने अपनी बेटी को हस्तांतरित किया है। न्यायालय ने उनके बैंक खाते में दिखाए गए 94 करोड़ रुपए के बारे में स्पष्टीकरण मांगा है। इसके साथ शीर्ष अदालत ने बिक्री के लिए पड़े 5,229 फ्लैट का वास्तविक मूल्य तय करने को लेकर आकलनकर्ता नियुक्त किया। इसमें वे फ्लैट भी शामिल है जिसे आम्रपाली ने केवल एक रुपए, 11 रुपए और 12 रुपए में बुक किए थे। न्यायालय ने आकलनकर्ता से मामले की अगली सुनवाई के दिन रिपोर्ट देने को कहा।
न्यायाधीश अरूण मिश्र और न्यायाधीश यू यू ललित की पीठ ने ‘द रायल गोल्फ लिंक सिटी प्रोजेक्ट्स प्राइवेट लि.’ को भी अपने घेरे में लेते हुए उसकी शेयरधारित, प्रवर्तकों के नाम और बही-खातों के बारे में जानकारी मांगी। पीठ ने रायल गोल्फ लिंक को अगले आदेश तक अपनी संपत्ति बेचने से मना किया। न्यायालय ने आकलनकर्ता से जेपी मोर्गन रियल एस्टेट फंड और आम्रपाली समूह के लेन-देन के बारे में भी बताने को कहा। न्यायालय मकान खरीदरों की याचिकाओं पर सुनवाई कर रहा है। याचिकाओं में मकान खरीदारों ने आम्रपाली समूह की परियोजनाओं में बुक किए गए करीब 42,000 का अधिकार दिए जाने का आदेश देने का आग्रह किया है।