Edited By Punjab Kesari,Updated: 05 Jan, 2018 11:33 AM
अपने प्रचार में गलत जानकारी देकर उपभोक्ता को भ्रमित करने और इस आधार पर बुकिंग करने के मामले में जिला उपभोक्ता विवाद निवारण फोरम ने ओमैक्स लिमिटेड को बुक करने के समय दी गई राशि ब्याज
मथुरा : अपने प्रचार में गलत जानकारी देकर उपभोक्ता को भ्रमित करने और इस आधार पर बुकिंग करने के मामले में जिला उपभोक्ता विवाद निवारण फोरम ने ओमैक्स लिमिटेड को बुक करने के समय दी गई राशि ब्याज सहित लौटाने का आदेश दिया है। असल में ओमैक्स ने बिना नक्शा पास कराए फ्लैट बुक कर दिए थे।
क्या है मामला
पुष्पांजलि एंक्लेव किशनपुर, रामघाट रोड अलीगढ़ निवासी त्रिलोकी नाथ उपाध्याय ने बताया कि छटीकरा रोड वृंदावन में ओमैक्स लिमिटेड ने एक रिहाइशी प्रोजैक्ट का प्रचार-प्रसार यह कहते हुए किया कि उसका ले-आऊट प्लान संबंधित प्राधिकार से स्वीकृत करा लिया गया है। इससे फ्लैट खरीदने के लिए किसी भी बैंक से लोन की सुविधा प्राप्त हो सकती है। त्रिलोकीनाथ ने भी इस योजना में एक फ्लैट बुक कराया था। इसके लिए उसने 1 अक्तूबर 2013 को 2 लाख 60 हजार रुपए भी अदा किए।
उसने स्टेट बैंक में लोन के लिए आवेदन दिया। बैंक ने लोन के लिए ले-आऊट प्लान और संबंधित अभिलेखों की मांग की। त्रिलोकीनाथ ने ओमैक्स से ले-आऊट की मांग की लेकिन उसे ले-आऊट प्लान उपलब्ध नहीं कराया गया। उसे 20 जनवरी 2014 को नोटिस दिया गया लेकिन कोई सुनवाई नहीं की गई। इसके बाद त्रिलोकीनाथ उपाध्याय ने 30 मई 2015 को न्यायालय जिला उपभोक्ता फोरम की शरण ली।
यह कहा फोरम ने
दोनों पक्षों को सुनने के बाद फोरम ने माना कि फ्लैट बुक करते समय ले-आऊट प्लान स्वीकृत नहीं था। 2 जनवरी 2018 को फोरम के अध्यक्ष योगेंद्र सिंह और सदस्य सुफिया अशरफ ने ओमैक्स को आदेश दिया कि फ्लैट के लिए बुक की गई 2 लाख 60 हजार की धनराशि 8 प्रतिशत ब्याज सहित वाद दायर करने की तिथि से अदायगी की तिथि तक फोरम के आदेश के 3 दिन के अंदर अदा की जाए। इसके साथ भी वाद खर्च के तौर पर 5,000 रुपए भी दिए जाने का आदेश दिया गया है।