चालू वित्त वर्ष में GDP की वृद्धि दर 7.5% रहेगी

Edited By jyoti choudhary,Updated: 01 Jun, 2018 05:25 PM

gdp to grow at up to 7 5 in fy19 oil prices a worry

विश्लेषकों का मानना है कि चालू वित्त वर्ष 2018-19 में देश की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर 7.5 प्रतिशत रहेगी। मुख्य रूप से उपभोग बढऩे से जीडीपी की दर में बढ़ोतरी होगी, हालांकि कच्चे तेल की कीमतें एक प्रमुख चिंता बनी हुई हैं।

मुंबईः विश्लेषकों का मानना है कि चालू वित्त वर्ष 2018-19 में देश की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर 7.5 प्रतिशत रहेगी। मुख्य रूप से उपभोग बढऩे से जीडीपी की दर में बढ़ोतरी होगी, हालांकि कच्चे तेल की कीमतें एक प्रमुख चिंता बनी हुई हैं। कल जारी आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार बीते वित्त वर्ष 2017-18 में जीडीपी की वृद्धि दर 6.7 प्रतिशत रही है।

रेटिंग एजेंसी क्रिसिल के अर्थशास्त्रियों का कहना है कि वृद्धि की यह रफ्तार कायम रहेगी ओर इससे चालू वित्त वर्ष में वृद्धि दर 7.5 प्रतिशत पर पहुंच जाएगी। हालांकि, यह दीर्घावधि के 7.6 प्रतिशत के रुख से कम रहेगी। यदि कच्चे तेल के दाम ऊंचे स्तर पर बने रहते हैं तो इससे नीचे की ओर जाने का भी जोखिम है। इसकी घरेलू प्रतिद्वंद्वी मूडीज इन्वेस्टर र्सिवस की इकाई इक्रा ने जीडीपी की वृद्धि दर 7.1 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है। इससे पहले इसी सप्ताह मूडीज ने चालू वित्त वर्ष में जीडीपी के वृद्धि दर के अनुमान को घटाकर 7.3 प्रतिशत किया था।

देश के सबसे बड़े भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) ने कहा है कि वृद्धि के रास्ते में जोखिम बना रहेगा। कच्चे तेल की कीमतें सबसे बड़ी चिंता है। बीते वित्त वर्ष की जनवरी-मार्च तिमाही में जीडीपी की वृद्धि दर 7.7 प्रतिशत रही है। यह 7 तिमाहियों का उच्चस्तर है। इससे देश का सबसे तेजी से बढऩे वाली अर्थव्यवस्था का दर्जा कायम रहा है। मार्च तिमाही में चीन की वृद्धि दर 6.8 प्रतिशत रही है।  

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