Edited By jyoti choudhary,Updated: 31 Jan, 2020 10:32 AM
वाणिज्य मंत्रालय ने बृहस्पतिवार को कहा कि उसने कपड़ा और गद्दे, चादर जैसे सामानों (मेड अप) पर दिए जाने वाले शुल्क प्रोत्साहन को वापस ले लिया है। इसका कारण कर और शुल्क छूट योजना आरओएससीटीएल लागू होना है।
नई दिल्लीः वाणिज्य मंत्रालय ने बृहस्पतिवार को कहा कि उसने कपड़ा और गद्दे, चादर जैसे सामानों (मेड अप) पर दिए जाने वाले शुल्क प्रोत्साहन को वापस ले लिया है। इसका कारण कर और शुल्क छूट योजना आरओएससीटीएल लागू होना है।
मंत्रालय की इकाई विदेश व्यापार महानिदेशालय ने एक अधिसूचना में कहा कि राज्य एवं केंद्रीय करों एवं शुल्कों पर छूट (आरओएससीटीएल) लागू होने के कारण परिधान तथा ‘मेड अप' क्षेत्र के लिए निर्यात से संबद्ध भारत से वस्तु निर्यात योजना (एमईआईएस) सात मार्च, 2019 से वापस ली जाती है।
सरकार कपड़ा और मेड अप उत्पादों के लिए राज्य एवं केंद्रीय शुल्कों से छूट के लिए मार्च, 2019 में आरओएससीटीएल योजना लेकर आई थी। इस छूट से उत्पादों पर कर नहीं लगेगा जिससे निर्यात प्रतिस्पर्धी होगा और इसे गति मिलेगी। मंत्रालय ने एमईआईएस योजना के तहत प्रोत्साहन वापस ले लिया है। इसमें सरकार उत्पाद और देश के आधार पर शुल्क लाभ उपलब्ध कराती है। यह योजना विश्व व्यापार संगठन के नियमों के अनुरूप नहीं मानी जाती है। डीजीएफटी ने आरओएससीटीएल योजना के तहत लाभ लेने के लिए विस्तृत प्रक्रिया रखी है। इसमें कहा गया है कि योजना के तहत छूट के दावे के लिए आवेदन ऑनलाइन दिया जा सकेगा। यह आवेदन डीजीएफटी की वेबसाइट पर डिजिटल हस्ताक्षर के साथ दिया जा सकेगा।