Edited By Supreet Kaur,Updated: 13 Oct, 2018 10:38 AM
पैट्रोल-डीजल के दामों में लगातार हो रही बढ़ौतरी से सरकार की मुसीबतें बढ़ती जा रही हैं। पैट्रोल और डीजल के दामों के बढ़ने का मुख्य कारण रुपए का गिरना और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल का महंगा होना है लेकिन सरकार ने आम जनता को राहत देने के लिए...
नई दिल्लीः पैट्रोल-डीजल के दामों में लगातार हो रही बढ़ौतरी से सरकार की मुसीबतें बढ़ती जा रही हैं। पैट्रोल और डीजल के दामों के बढ़ने का मुख्य कारण रुपए का गिरना और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल का महंगा होना है लेकिन सरकार ने आम जनता को राहत देने के लिए सस्ता कच्चा तेल खरीदने का नया फार्मूला खोज निकाला है।
सूत्रों के अनुसार भारत और ईरान मिलकर क्रूड के एवज में भुगतान के नए तरीके पर काम कर रहे हैं। भारत कच्चा तेल खरीदने के बदले में चावल और अन्य वस्तु ईरान को दे सकता है। साथ ही भारत वेनेजुएला के साथ भी रुपए में तेल खरीदने की तैयारी कर रहा है।
यह रणनीति भारत के लिए फायदेमंद
मोदी सरकार की यह रणनीति भारत के लिए बेहद फायदेमंद साबित हो सकती है क्योंकि भारत कच्चे तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है। उल्लेखनीय है कि अंतर्राष्ट्रीय बाजार में पैट्रोलियम उत्पाद सिर्फ अमरीकी डॉलर के बदले ही खरीदा जा सकता है। ऐसे में कच्चे तेल के लिए सिर्फ अमरीकी डॉलर में पेमैंट करना भारत के लिए बहुत नुक्सानदायक साबित हो रहा है। विदेशी पूंजी भंडार घट रहा है और रुपया कमजोर हो रहा है। इससे देश में महंगाई बढ़ने का खतरा बढ़ गया है। इस भुगतान प्रणाली को लेकर दोनों देशों के अधिकारियों के बीच ईरान में बहुत समय से वार्ता हो रही है। तुर्की इसी तरीके से कच्चे तेल का भुगतान ईरान को करता है।