Edited By Punjab Kesari,Updated: 26 Jun, 2017 03:00 PM
जी.एस.टी. 1 जुलाई से देश भर में लागू होने जा रहा है। सरकार का कहना है कि जी.एस.टी. लागू होने का फायदा ...
नई दिल्लीः जी.एस.टी. 1 जुलाई से देश भर में लागू होने जा रहा है। सरकार का कहना है कि जी.एस.टी. लागू होने का फायदा कारोबारी, निवेशक से लेकर आम आदमी तक को मिलेगा। बता दें कि होम बायर्स से लेकर डेवलपर्स तक में इसको लेकर उलझन बढ़ गई है। ऐसा जी.एस.टी. में ओवरऑल प्रॉपर्टी पर 12 फीसदी की दर से टैक्स तय करने के कारण हुआ है।
12 फीसदी की दर से लगाया जाएगा टैक्स
सरकार का कहना है कि जी.एस.टी. लागू होने से रियल्टी सेक्टर पर टैक्स का बोझ कम होगा जिसका फायदा होम बायर्स को मिलेगा। वहीं, डेवलपर्स का कहना है कि जी.एस.टी. लागू होने से टैक्स का बोझ कम नहीं बल्कि बढ़ेगा, जिससे प्रॉपर्टी की कीमतें बढे़गी। फलस्वरूप कीमत में इजाफा की भरपाई होम बायर्स से की जाएगी।सरकार का कहना है कि जी.एस.टी. में प्रॉपर्टी बाजार पर सिर्फ 12 फीसदी की दर से टैक्स लगाया गया है। जी.एस.टी. लागू होने पर इस सेक्टर पर न सिर्फ टैक्स का बोझ घटेगा बल्कि इनपुट क्रेडिट का लाभ मिलेेगा। ऐसे में डेवलपर्स टैक्स छूट से होने वाले लाभ को घर खरीदारों क तक पहुंचाए।
एेसे मिलेगा फायदा
अगर किसी 2बी.एच.के. फ्लैट की लागत 60 लाख रुपए है तो उसमें करीब 20 लाख रुपए का सीमेंट और सरिया लगता है। इन पर 12 फीसदी की दर से एक्साइज ड्यूटी देता होता है। यानी, 2.4 लाख रुपए का टैक्स जाता है। जी.एस.टी. लागू होने पर यह टैक्स इनपुट क्रेडिट के तौर पर डवलपर्स को मिल जाएगा। यानी, इतनी रकम की बचत एक फ्लैट के कंस्ट्रक्शन पर होगी। डवलपर्स इस बचत को होम बायर्स को पास-ऑन आसानी से कर सकता है। इससे घर की कीमत कम करने में मदद मिलेगी, जिसका फायदा हर घर खरीदार को मिलेगा।
क्या करें घर खरीदार
जी.एस.टी. को लेकर प्रॉपर्टी बाजार में पैदा हुए उहापोह की स्थिति पर प्रॉपर्टी एक्सपर्ट का कहना है कि अभी नए घर खरीदारों को वेट एंड वॉच की नीति अपनानी चाहिए। किसी भी लालच या बचत के लिए जल्दबाजी में कोई भी फैसला लेने से बचना चाहिए। जी.एस.टी. लागू होने के बाद ही तस्वीर साफ हो पाएगी।