प्रौद्योगिकी लागू करने में भारतीय कंपनियां आगे

Edited By Punjab Kesari,Updated: 13 Feb, 2018 02:18 PM

indian companies in implementing technology ahead

प्रौद्योगिकी से जुड़ी तैयारियों को लागू करने में भारतीय कंपनियां आगे हैं। इस क्रम में 38 प्रतिशत घरेलू कंपनियां मानव-मशीन एकीकरण को अपना चुकी हैं जबकि इसकी तुलना में ऑस्ट्रेलिया और सिंगापुर जैसे देशों को इसे हासिल करने में दो वर्ष का समय लगने की...

नई दिल्लीः प्रौद्योगिकी से जुड़ी तैयारियों को लागू करने में भारतीय कंपनियां आगे हैं। इस क्रम में 38 प्रतिशत घरेलू कंपनियां मानव-मशीन एकीकरण को अपना चुकी हैं जबकि इसकी तुलना में ऑस्ट्रेलिया और सिंगापुर जैसे देशों को इसे हासिल करने में दो वर्ष का समय लगने की उम्मीद है। दुनिया की दिग्गज प्रौद्योगिकी कंपनी डेल टेक्नोलॉजीज के सर्वेक्षण में यह बात कही।

डेल ईएमसी (इंडिया एंटरप्राइज) के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक राजेश जेने ने कहा, भारतीय कंपनियां प्रौद्योगिकी के मामले में अपने वैश्विक समकक्षों की तुलना में ज्यादा परिपक्व है, जो हमारे के लिए हैरान करने वाला है। मानव-मशीन एकीकरण में मानव और मशीनें एक साथ मिलकर एकीकृत टीम के रूप में काम करते हैं। ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड और सिंगापुर जैसे देश महसूस करते हैं कि उनको मानव-मशीन एकीकरण हासिल करने में अगले दो साल लगेंगे। चीन का मानना है कि उसे यह अपनाने में अगले 2 से 5 साल लगेंगे।

जेने ने कहा कि 38 प्रतिशत भारतीय कंपनियां महसूस करती हैं कि उन्होंने मानव-मशीन एकीकरण को अपना लिया है। इस सर्वेक्षण में 17 देशों के 12 क्षेत्रों की 3,800 वैश्विक उद्यमियों (भारत से 300 उद्यमी समेत) को शामिल किया गया है। इसका उद्देश्य 2030 तक समाज पर प्रौद्योगिकी का प्रभाव का पता लगाना है।             

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