जेट एयरवेज के पायलट, इंजीनियर और 2 विदेशी वैंडर भी दिवालिया अदालत पहुंचे

Edited By jyoti choudhary,Updated: 20 Jun, 2019 11:13 AM

jet airways pilots engineers and 2 foreign vendors also reached

जेट एयरवेज के पायलट, इंजीनियर्स के संगठन और नीदरलैंड के 2 वैंडर भी दिवालिया अदालत पहुंच गए। पायलट और इंजीनियर जेट के खिलाफ दिवालिया प्रक्रिया में पार्टी बनना चाहते हैं। विदेशी वैंडर्स ने अपने हित सुरक्षित रखने के लिए याचिका (इंटरवैन्शन पटीशन) दायर...

मुम्बई: जेट एयरवेज के पायलट, इंजीनियर्स के संगठन और नीदरलैंड के 2 वैंडर भी दिवालिया अदालत पहुंच गए। पायलट और इंजीनियर जेट के खिलाफ दिवालिया प्रक्रिया में पार्टी बनना चाहते हैं। विदेशी वैंडर्स ने अपने हित सुरक्षित रखने के लिए याचिका (इंटरवैन्शन पटीशन) दायर करने की इजाजत मांगी है। इन पर नैशनल कम्पनी लॉ ट्रिब्यूनल (एन.सी.एल.टी.) वीरवार को सुनवाई करेगा। जेट के खिलाफ बैंकों की दिवालिया याचिका पर भी सुनवाई होगी।

जेट एयरवेज पर 23,000 कर्मचारियों के वेतन के 3000 करोड़ रुपए बकाया हैं। कर्मचारियों को मार्च से सैलरी नहीं मिली है। इंजीनियर्स और पायलट्स को दिसम्बर, 2018 से टुकड़ों में वेतन दिया गया था। जेट पर वैंडर्स और लीजदाताओं के 10,000 करोड़ रुपए बकाया हैं। एस.बी.आई. के नेतृत्व वाले 26 बैंकों के कंसोर्टियम ने जेट एयरवेज के खिलाफ  सोमवार को दिवालिया प्रक्रिया में जाने का फैसला लिया और मंगलवार को एन.सी.एल.टी. की मुम्बई बैंच में याचिका दायर की थी। जेट पर कर्जदाताओं के 8500 करोड़ रुपए बकाया हैं।

नरेश गोयल की बढ़ सकती हैं मुश्किलें
प्रवर्तन निदेशालय (ई.डी.) बहुत जल्द जेट एयरवेज के संस्थापक और लंबे समय तक चेयरमैन रहे नरेश गोयल से एयरलाइन के लॉयल्टी प्रोग्राम को लेकर पूछताछ कर सकता है। ई.डी. को संदेह है कि लॉयल्टी प्रोग्राम के तहत स्टेक की बिक्री हुई है। ई.डी. जेट एयरवेज और उसकी यूनिट्स पर कथित तौर पर 650 करोड़ रुपए के टैक्स चोरी की भी जांच करेगा। ई.डी. यह पता लगाना चाहता है कि इसके लिए कहीं फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमैंट एक्ट (एफ.ई.एम.ए.) के नियमों का उल्लंघन किया गया है या नहीं। साल 2012 तक जेट एयरवेज प्राइवेट लिमिटेड (जे.पी.पी.एल.) का मालिकाना हक पूरी तरह से जेट एयरवेज के पास था। इसके बाद एतिहाद एयरवेज ने इसमें 50.1 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदी थी। बाकी की 49.9 प्रतिशत हिस्सेदारी जेट एयरवेज के पास है। साल 2013 में एतिहाद एयरवेज ने जेट एयरवेज में 24 प्रतिशत की हिस्सेदारी खरीदी थी। पहले भी प्रवर्तन निदेशालय जे.पी.पी.एल. में 15 करोड़ डॉलर के इस स्टेक को बेचे जाने पर जांच कर चुका है। गत मई माह में भी कम्पनी के वरिष्ठ अधिकारियों को इस संबंध में पूछताछ के लिए बुलाया गया था। अपनी जांच में ई.डी. इस बारे में भी पता लगाने की कोशिश कर रहा है कि क्या एतिहाद को जेट एयरवेज में निवेश करने के लिए फॉरेन इन्वैस्टमैंट एंड प्लानिंग बोर्ड से मंजूरी मिली थी।  

आज होगी सुनवाई
एन.सी.एल.टी. वीरवार यानी 20 जून को जेट के 2 ऑप्रेशनल क्रैडिटर शमन व्हील्स और गागर एंटरप्राइजेज की याचिकाओं पर भी सुनवाई कर सकता है। दोनों ने 10 जून को दिवालिया अर्जी दाखिल की थी। शमन व्हील्स ने जेट पर 8.74 करोड़ रुपए और गागर एंटरप्राइजेज ने 53 लाख रुपए बकाया होने का दावा किया है।कर्ज में फंसी जेट एयरवेज का संचालन 17 अप्रैल को बंद हो गया था। रैजोल्यूशन प्लान के तहत बैंक जेट की हिस्सेदारी बेचना चाहते थे लेकिन बिडिंग सफल नहीं रही इसलिए कर्ज की वसूली के लिए बैंकों ने दिवालिया अदालत जाने का फैसला किया।

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