Edited By Yaspal,Updated: 18 Oct, 2020 05:31 AM
जेट एयरवेज के कर्जदाताओं की समिति (सीओसी) ने दिवाला समाधान प्रक्रिया के तहत ब्रिटेन की कलरॉक कैपिटल और संयुक्त अरब अमीरात के मुरारी जालान के प्रस्ताव को शनिवार को मंजूरी दे दी। जेट एयरवेज के समाधान पेशेवर (आरपी) आशीष छावछरिया ने बीएसई फाइलिंग में...
मुंबईः जेट एयरवेज के कर्जदाताओं की समिति (सीओसी) ने दिवाला समाधान प्रक्रिया के तहत ब्रिटेन की कलरॉक कैपिटल और संयुक्त अरब अमीरात के मुरारी जालान के प्रस्ताव को शनिवार को मंजूरी दे दी। जेट एयरवेज के समाधान पेशेवर (आरपी) आशीष छावछरिया ने बीएसई फाइलिंग में कहा कि प्रस्ताव पर ई-वोटिंग के बाद योजना को मंजूरी दी गयी थी। उन्होंने कहा, ‘‘मुरली लाल जालान और फ्लोरियन फ्रिट्च द्वारा प्रस्तुत प्रस्ताव को सफल संकल्प योजना के रूप में विधिवत अनुमोदित किया गया है।''
दो समूहों से मिले थे प्रस्ताव
बंद हो चुकी विमानन कंपनी को दो समूहों से प्रस्ताव मिले थे। जिस समूह के प्रस्ताव को स्वीकार किया गया है, उसमें फ्लोरियन फ्रिट्च द्वारा स्थापित ब्रिटेन की कलरॉक कैपिटल और संयुक्त अरब अमीरात के मुरारी जालान शामिल हैं। एक अन्य बोली हरियाणा की फ्लाइट सिमुलेशन तकनीक केंद्र, मुंबई की बिग चार्टर और अबू धाबी की इंपीरियल कैपिटल इंवेस्टमेंट्स एलएलसी ने मिलकर प्रस्तुत की थी।
अप्रैल, 2019 से थम गई उड़ान
एयरलाइन जेट एयरवेज पिछले साल अप्रैल, 2019 से बंद है। वहीं जेट एयरवेज के संस्थापक नरेश गोयल ने मार्च, 2019 में ही चेयरमैन पद से इस्तीफा दे दिया था। वित्तीय अनियमितताओं की वजह से नरेश गोयल कानूनी शिकंजे में हैं। एयरलाइन पर बैंकों का 10,000 करोड़ रुपये से अधिक बकाया है, जो ब्याज के साथ बढ़ता जा रहा है। इस बकाये में सरकारी बैंकों की बड़ी हिस्सेदारी है।
आगे की प्रक्रिया
कलरॉक कैपिटल और मुरारी लाल जालान वाले रिवाइवल प्लान को कर्जदाताओं की समिति की मंजूरी मिलने के बाद नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एसीएलटी) के सामने रखा जाएगा। इस प्लान को एनसीएलटी की मंजूरी मिलने के साथ ही एयरलाइन के अधिग्रहण का रास्ता साफ हो जाएगा।बता दें कि जेट एयरवेज को कर्ज देने वाले कर्जदाताओं ने दिवालिया घोषित करने के लिए जून, 2019 में एनसीएलटी में आवेदन किया गया था। दिवालिया प्रक्रिया को पूरा करने में लॉकडाउन समेत कई समस्याएं आईं। हालांकि, अब इसे मंजूरी मिल गई है।