Edited By jyoti choudhary,Updated: 12 Nov, 2019 10:55 AM
केंद्रीय बिजली सचिव संजीव नंदन सहाय ने सोमवार को कहा कि बिजली कानून, 2003 में प्रस्तावित संशोधन का उद्देश्य बिजली क्षेत्र को खोलना है ताकि निजी क्षेत्र को समान अवसर मिले। बिजली मंत्रालय ने मसौदा विधेयक तैयार किया है। इसमें राज्यों को वितरण क्षेत्र...
मुंबईः केंद्रीय बिजली सचिव संजीव नंदन सहाय ने सोमवार को कहा कि बिजली कानून, 2003 में प्रस्तावित संशोधन का उद्देश्य बिजली क्षेत्र को खोलना है ताकि निजी क्षेत्र को समान अवसर मिले। बिजली मंत्रालय ने मसौदा विधेयक तैयार किया है। इसमें राज्यों को वितरण क्षेत्र में आपूर्तिकर्ता के रूप में कई निजी फ्रेंचाइजी को काम करने की अनुमति दी गयी है। सार्वजनिक क्षेत्र की वितरण कंपनियां केवल नेटवर्क के मालिक होंगे।
ऊर्जा क्षेत्र पर यहां आयोजित एक अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठी में सहाय ने कहा, ‘‘कानून में बदलाव से क्षेत्र खुलेगा जिसमें निजी क्षेत्र की बड़ी भूमिका होगी।'' उन्होंने कहा कि ऊर्जा दक्षता के लिए नवप्रवर्तन, प्रौद्योगिकी, वित्तीय और नियमन की जरूरत है। सरकार नियमन पर गौर कर रही है जिससे नवप्रवर्तन को बढ़ावा मिलेगा और यह सुनिश्चित करेगा कि एकाधिकार नहीं हो।
सहाय ने कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए हम बिजली कानून में संशोधन कर रहे हैं और बाजार, बाजार व्यवस्था तथा ऊर्जा कारोबार पर अध्याय जोड़ रहे हैं। इसी कार्यक्रम में एनटीपीसी के चेयरमैन गुरदीप सिंह ने कहा कि उपकरण प्रणाली में दक्षता लाने के लिए ओर नवप्रवर्तन की जरूरत है। इससे आम लोगों को लाभ होगा। कार्यक्रम के दौरान ईईएसएल ने स्मार्ट मीटर लगाने की योजना को लेकर राष्ट्रीय बुनियादी ढांचा और निवेश कोष के साथ संयुक्त उद्यम समझौते पर हस्ताक्षर किए।