Edited By jyoti choudhary,Updated: 29 May, 2019 05:45 PM
उच्चतम न्यायालय ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की चोरी करने वाले व्यक्तियों को गिरफ्तार करने की कर प्राधिकरणों की शक्ति की समीक्षा करने पर बुधवार को सहमति प्रदान की। मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस की अवकाश
नई दिल्लीः उच्चतम न्यायालय ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की चोरी करने वाले व्यक्तियों को गिरफ्तार करने की कर प्राधिकरणों की शक्ति की समीक्षा करने पर बुधवार को सहमति प्रदान की। मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस की अवकाश पीठ ने केंद्रीय जीएसटी अधिनियम के गिरफ्तारी के प्रावधानों को चुनौती देने वाली याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया और जवाब देने को कहा।
पीठ ने कहा कि जीएसटी चोरी करने के आरोपियों को जमानत देने के मामले में विभिन्न उच्च न्यायालयों ने अलग-अलग रुख अपनाया है, इस कारण गिरफ्तारी की शक्ति की समीक्षा की जरूरत है। साथ ही पीठ ने सभी उच्च न्यायालयों को इस तरह के मामलों में जमानत देने से पहले अपने उस आदेश को ध्यान में रखने को कहा जिसमें उसने तेलंगाना उच्च न्यायालय के निर्णय को बरकरार रखा था। उक्त आदेश में तेलंगाना उच्च न्यायालय ने कहा था कि इस तरह के मामलों में किसी व्यक्ति को गिरफ्तारी से बचने की छूट नहीं दी जा सकती है। पीठ ने मामले को आगे की सुनवाई के लिये तीन न्यायाधीशों की पीठ के सुपुर्द कर दिया।