Edited By jyoti choudhary,Updated: 11 Sep, 2018 03:39 PM
उच्चतम न्यायालय मंगलवार को एस्सार स्टील के लिए बोली लगाने की पात्रता के मामले में राष्ट्रीय कंपनी विधि अपी लीय न्यायाधिकरण (एन.सी.एल.ए.टी.) द्वारा 7,000 करोड़ रुपए के भुगतान के समय
नई दिल्लीः उच्चतम न्यायालय मंगलवार को एस्सार स्टील के लिए बोली लगाने की पात्रता के मामले में राष्ट्रीय कंपनी विधि अपी लीय न्यायाधिकरण (एन.सी.एल.ए.टी.) द्वारा 7,000 करोड़ रुपए के भुगतान के समय की अवधि बढ़ाने के लिए आर्सेलर मित्तल की याचिका पर बुधवार को सुनवाई के लिए तैयार हो गया।
प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर और न्यायमूर्ति धनन्जय वाई चन्द्रचूड़ की पीठ ने दूसरी बोली के लिए योग्य बनने हेतु आज तक 7,000 करोड़ रुपए के भुगतान के आदेश पर शीघ्र सुनवाई से इनकार कर दिया। पीठ ने कहा कि हम इस पर कल सुनवाई करेंगे।
एन.सी.एल.ए.टी. ने पिछले गुरुवार को अपने फैसले में कहा था कि रूस के वीटीबी समूह के समर्थन से न्यूमेटल की दूसरी बोली योग्य थी और उसने आर्सेनल मित्तल को इसके लिये योग्यता प्राप्त करने हेतु 11 सितंबर तक अपनी दूसरी सहायक कंपनियों की बकाया राशि का भुगतान करने का आदेश दिया था ताकि उस पर लगा बकाएदार का ठप्पा हट जाए। एस्सार स्टील के लिए बोली लगाने की पात्रता प्राप्त करने वाले तीसरे व्यक्ति वेदांता के अनिल अग्रवाल हैं।