Edited By vasudha,Updated: 19 Jan, 2020 10:38 AM
बी.एन.पी. पारिबा ने कंज्यूमर सैक्टर से जुड़े कई शेयरों के प्रति नकारात्मक रुख अपनाया है। इस विश्लेषक का मानना है कि बढ़ती लागत, सरकार द्वारा खर्च पर जोखिम और टैलीकॉम कम्पनियों द्वारा बढ़ाए शुल्क इसके प्रमुख कारण हैं...
बिजनेस डेस्क: बी.एन.पी. पारिबा ने कंज्यूमर सैक्टर से जुड़े कई शेयरों के प्रति नकारात्मक रुख अपनाया है। इस विश्लेषक का मानना है कि बढ़ती लागत, सरकार द्वारा खर्च पर जोखिम और टैलीकॉम कम्पनियों द्वारा बढ़ाए शुल्क इसके प्रमुख कारण हैं। इस बैंक ने नैस्ले, गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स और टाइटन को रेटिंग घटाने की सलाह दी है, जबकि डाबर, इमामी और जुबिलैंट फूडवक्र्स को होल्ड करने के लिए कहा है। हालांकि इसके अनुसार निवेशक आई.टी.सी. मैरिको जैसे शेयरों को खरीद सकते हैं।
बी.एन.पी. पारिबा का मानना है कि 30 शेयरों वाला बैंचमार्क सूचकांक बी.एस.ई. सैंसेक्स इस साल के अंत तक 44,500 के स्तर तक पहुंच सकता है। इसमें 9 प्रतिशत तक की तेजी आ सकती है। कंज्यूमर शेयरों पर बैंक ने कहा कि ज्यादातर कम्पनियां रैवेन्यू ग्रोथ को दोहरे अंकों में ले जाने में विफल रही हैं।
आने वाले समय में लगेंगे कई झटके
बी.एन.पी. के विश्लेषक कुणाल वोरा ने कहा कि भारतीय एफ.एम.सी.जी. कम्पनियों की रैवेन्यू ग्रोथ वित्त वर्ष 2015-16 से घट रही है मगर कच्चे माल की कीमतों में कमी और टैक्स दरों में गिरावट की वजह से कमाई ग्रोथ बढ़ी है। हालांकि आने वाले समय में कई झटके लग सकते हैं। बैंक ने अपने नोट में कहा कि कमजोर इंकम ग्रोथ और महंगाई के दबाव के चलते टैलीकॉम कम्पनियों ने शुल्क बढ़ाया। इस तरह के इजाफे से एफ.एम.सी.जी. कम्पनियों के लिए स्थिति कठिन हो सकती है क्योंकि इसका असर वॉल्यूम पर पड़ेगा।