सुप्रीम कोर्ट में लोन मोरेटोरियम मामले की सुनवाई 18 नवंबर तक टली

Edited By rajesh kumar,Updated: 05 Nov, 2020 01:43 PM

supreme court postponed till 18 november

उच्चतम न्यायालय ने बैंकों के लोन मोरेटोरियम मामले की सुनवाई 18 नवंबर तक के लिए स्थगित कर दी है। न्यायमूर्ति अशोक भूषण की अध्यक्षता वाली खंडपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई गुरुवार को जैसे ही शुरू हुई, याचिकाकर्ता ने इस दिशा में सरकार द्वारा कदम उठाए...

नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने बैंकों के लोन मोरेटोरियम मामले की सुनवाई 18 नवंबर तक के लिए स्थगित कर दी है। न्यायमूर्ति अशोक भूषण की अध्यक्षता वाली खंडपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई गुरुवार को जैसे ही शुरू हुई, याचिकाकर्ता ने इस दिशा में सरकार द्वारा कदम उठाए जाने की सराहना की। याचिकाकर्ता ने चक्रवृद्धि ब्याज से छूट के लिए वित्त मंत्रालय, रिजर्व बैंक और सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता का आभार व्यक्त किया।

केंद्र की ओर से पेश हो रहे अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल वेंकटरमण ने खंडपीठ से कहा कि श्री मेहता सेंट्रल विस्टा परियोजना से संबंधित मामले की सुनवाई में व्यस्त हैं, इसलिए सुनवाई को टाल दिया जाए। इसी बीच बिजली सेक्टर की कंपनियों की ओर से पेश हो रहे वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि पूरा विद्युत सेक्टर समस्याओं से गुजर रहा है। जबकि रिजर्व बैंक ने कहा कि गैर निष्पादित संपत्तियों (एनपीए) की घोषणा पर प्रतिबंध के कारण उसे बहुत दिक्कत हो रही है। न्यायालय ने कहा कि रिजर्व बैंक इस बिंदु पर अगली सुनवाई को अपना पक्ष रख सकता है। इसी बीच वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे भी कुछ दलील देते सुने गए, लेकिन तब तक खंडपीठ ने सुनवाई 18 नवंबर तक के लिए स्थगित कर दी। 

बैंकों ने कर्जदारों के खातों में पैसा डालना शुरू किया
बैंकों ने कर्ज वापसी पर रोक अवधि के दौरान कर्जदारों के खातों में ब्याज पर लगाये गये ब्याज की रकम लौटानी शुरू कर दी है। योजना पर अमल करते हुये सार्वजनिक क्षेत्र के एक बैंक से ग्राहक को संदेश भेजा गया, ‘प्रिय ग्राहक कोविड-19 राहत अनुदान राशि तीन नवंबर को आपके खाते में डाल दी गई है।’ रिजर्व बैंक ने पिछले सप्ताह ही सभी बैंकों, गैर- बैंकिंग वित्तीय कंपनियों सहित कर्ज देने वाले संस्थानों को यह सुनिश्चित करने को कहा कि दो करोड़ रुपये तक के कर्ज पर छह माह की रोक अवधि के दौरान लिये गये ब्याज पर ब्याज से माफी योजना पर पांच नवंबर तक अमल होना चाहिये।

ये होंगे ब्याज से छूट पाने के पात्र
वित्त मंत्रालय ने इस योजना को लेकर आम लोगों के मन में उठने वाले सवालों के जवाब जारी किये हैं। मंत्रालय ने बुधवार को कहा कि सोने को गिरवी लिये गये उपभोक्ता कर्ज भी योजना के तहत ब्याज पर ब्याज से छूट पाने के पात्र हैं। मंत्रालय ने यह भी स्पष्ट किया है कि कर्जदाता संस्थान द्वारा सूक्ष्म, लघु और मझोले उद्यम (एमएसएमई) के तौर वर्गीकृत कर्ज सहित कर्जदारों की आठ पात्रता प्राप्त श्रेणियों के तहत लिये गये व्यक्तिगत कर्ज भी इस माफी योजना के तहत छूट पाने के हकदार होंगे। इन कर्ज के लिये गारंटी चाहे किसी भी तरह की हो उससे इनकी पात्रता पर कोई असर नहीं होगा। 

हालांकि, कृषि और संबंधित गतिविधियों के लिये लिये गये कर्ज को इस छूट योजना से अलग रखा गया है। योजना में एक मार्च 2020 से 31 अगस्त 2020 तक बैंकों और कर्जदाता संस्थानों द्वारा दो करोड़ रुपये तक के बकाये कर्ज खातों पर ब्याज पर लिये गये ब्याज से माफी देने का प्रावधान है और इस राशि को अनु्ग्रह अनुदान भुगतान के तौर पर कर्जदारों के खातों में लौटाया जायेगा। 

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!