Edited By jyoti choudhary,Updated: 24 Jun, 2018 12:15 PM
सूरत के मुख्य न्यायिक मैजिस्ट्रेट की कोर्ट ने देश से फरार हो चुके हीरा कारोबारी नीरव मोदी के खिलाफ अरेस्ट वॉरंट जारी किया है। यह वॉरंट 48.21 करोड़ की कस्टम ड्यूटी की हेरफेर के मामले में जारी किया। इस मामले की जांच डायरेक्टरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस...
बिजनेस डेस्कः सूरत के मुख्य न्यायिक मैजिस्ट्रेट की कोर्ट ने देश से फरार हो चुके हीरा कारोबारी नीरव मोदी के खिलाफ अरेस्ट वॉरंट जारी किया है। यह वॉरंट 48.21 करोड़ की कस्टम ड्यूटी की हेरफेर के मामले में जारी किया। इस मामले की जांच डायरेक्टरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस यानी डीआरआई ने की है।
दरअसल 2014 में डीआरआई के सामने तराशे और पॉलिश्ड हीरो के एयर कार्गो कॉमप्लेक्स, सहर की हांगकांग और दुबई जाने की घोषणा की गई थी लेकिन यह घोषणा गलत थी। इन 6 कंसाइनमेंट्स की घोषित कीमत भी 43.10 करोड़ थी जबकि सरकारी मूल्यांकक ने इसकी कीमत का अनुमान 4.93 करोड़ लगाया था। नीरव मोदी की 3 कंपनियों ने ड्यूटी फ्री तराशे और पॉलिश्ड हीरे और मोती के माल को खुले बाजार में डायवर्ट कर दिया।
पीएनबी घोटाले का आरोप
बता दें कि नीरव मोदी भारतीय डायमंड मर्चेंट हैं जो फरवरी 2018 में पंजाब नेशनल बैंक में हुए घोटाले के भी आरोपी हैं। नीरव मोदी भारत छोड़कर जा चुके हैं। नीरव मोदी पर पंजाब नेशनल बैंक में 12 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा का घोटाला करने का आरोप है। नीरव मोदी जनवरी में देश छोड़ चुका है।
नीरव मोदी के खिलाफ इंटरपोल नोटिस
नीरव मोदी को पकड़ने के लिए सीबीआई ने इंटरपोल की मदद मांगी है। नीरव मोदी के खिलाफ इंटरपोल नोटिस जारी कर चुका है। नीरव मोदी फायरस्टार डायमंड कंपनी के फाउंडर हैं जो एक साल में 200 करोड़ डॉलर (13 हजार करोड़ रुपए) से ज्यादा कारोबार का दावा करती है।