Edited By Priyanka rana,Updated: 31 Oct, 2018 08:49 AM
मिलावटी दूध और इससे बनी आईटम्स पर पूर्ण रूप सें पाबंदी और सख्त कार्रवाई की मांग को लेकर हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई है।
चंडीगढ़(बृजेन्द्र) : मिलावटी दूध और इससे बनी आईटम्स पर पूर्ण रूप सें पाबंदी और सख्त कार्रवाई की मांग को लेकर हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई है। चीफ जस्टिस कृष्ण मुरारी पर आधारित डिविजन बैंच ने मामले को गंभीरता से लेते हुए चंडीगढ़ प्रशासन समेत हरियाणा सरकार को भी पार्टी बना लिया है। इन सबसे मामले में जवाब मांगा गया है। केस की अगली सुनवाई 19 नवम्बर को होगी।
सर्विंग इन आर्गेनाइजेशंस फॉर लीगल इनिशिएटिव्स (सिओली) ने केंद्र सरकार, पंजाब सरकार, स्टेट फूड एंड कमीशन, डायरैक्टर हैल्थ एंड फैमिली वैल्फेयर, पंजाब व अन्य को पार्टी बनाते हुए यह याचिका दायर की थी। याचिका में मांग की गई है कि प्रतिवादी पक्ष को आदेश दिए जाएं कि सिंथैटिक/मिलावटी दूध और इससे बनने वाली आईटम्स की बिक्री व वितरण को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाएं।
इसके अलावा आम लोगों को मिलावटी आइटम्स की जांच के लिए आसान टेस्ट करवाने के प्रति जागरूक करें। साथ ही लोगों को मिलावटी दूध व इसकी आइटम्स से होने वाले कुप्रभावों की जानकारी दें। इसके अलावा सरकार को आदेश दिए जाएं कि आई.पी.सी. की धारा 272 में उचित्त संशोधन करें ताकि फूड एडल्ट्रेशन में सख्त सजा दी जा सके। याची की ओर से एडवोकेट किरत पाल धालीवाल ने दलीलें पेश करते हुए सख्त सजा को लेकर सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के तहत कार्रवाई की मांग की।